कोर्ट रोड स्थित सदर अस्पताल के गायनी विभाग में मरीजों की संख्या लगातार कम हो रही है. अस्पताल के इंडोर पेशेंट डिपार्टमेंट (आइपीडी) में सितंबर माह से अबतक मरीजों की संख्या तेजी से घटी है. इसे देखते हुए सिविल सर्जन डॉ चंद्रभानु प्रतापन ने अस्पताल के नोडल पदाधिकारी से जवाब मांगा है. गायनी विभाग में मरीजों के गिरते ग्राफ को लेकर दो दिनों के अंदर रिपोर्ट सौंपने का निर्देश दिया है. स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के अनुसार जवाब संतोषजनक नहीं पाये जाने पर सदर अस्पताल के अधिकारियों व कर्मियों को शोकॉज किया जायेगा. बता दें कि सितंबर माह से पहले सदर अस्पताल के गायनी विभाग के आइपीडी में हर माह औसतन 300 से ज्यादा मरीज भर्ती होते थे. संख्या लगातार कम होते हुए सौ से कम पहुंच गयी है. जबकि, सदर अस्पताल में गायनी की चार चिकित्सक की नियुक्ति है. गायनी विभाग के आइपीडी में गर्भवती महिलाओं के चिकित्सा से जुड़े सभी संसाधन मौजूद हैं.
रात को मरीज नहीं लिए जा रहे भर्ती :
स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के अनुसार सदर अस्पताल में रात को पहुंचने वाली गर्भवती महिलाओं को कुछ माह से भर्ती लेना बंद कर दिया गया है. जानकारी के अनुसार प्रसव पीड़ा होने पर रात में कई महिलाएं अस्पताल पहुंचती हैं. रात के वक्त अस्पताल में एनेस्थीसिया चिकित्सक उपलब्ध नहीं होने के कारण ज्यादातर मरीजों को एसएनएमएमसीएच जाने की सलाह दी जा रही है. अस्पताल में मरीजों का ग्राफ गिरने की यह भी एक मुख्य वजह बतायी जा रही है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है