धनबाद.
विश्व थैलेसीमिया दिवस पर बुधवार को सिंदरी के गणेश शर्मा ने थैलेसीमिया पीड़ित दो बच्चियों व उनके परिजनों के साथ बैंक मोड़ से रणधीर वर्मा चौक होते हुए एसएनएमएमसीएच तक जागरूकता रैली निकाली. इसके माध्यम से लोगों को इस बीमारी से बचाव, शादी से पूर्व पति-पत्नी की जांच और गर्भ में पल रहे बच्चे की जांच करवाने का आह्वान किया गया. साथ ही सरकार से धनबाद में इस बीमारी की जांच और दवाइयों की व्यवस्था करने की अपील की. रैली में शामिल भेलाटांड़ के आनंद कुमार महतो व महुदा के दिनेश कुमार महतो ने बताया कि थैलेसीमिया एक जेनेटिक बीमारी होने के साथ काफी खतरनाक है. इस बीमारी के मरीज के शरीर में खून बनना बंद हो जाता है. समय पर खून नहीं मिलने पर मरीज की मौत भी हो सकती है. धनबाद में थैलेसीमिया के 250 से अधिक मरीज हैं, पर धनबाद में न तो इसकी जांच की सुविधा है और न ही दवाइयां उपलब्ध है.ऐसे में सक्षम लोग तो दूसरे राज्यों में जा कर इलाज करवा लेते हैं पर गरीब तबके को काफी दिक्कत होती है.बीसीसीएल ने मनायी रवींद्रनाथ टैगोर की जयंती :
बीसीसीएल मुख्यालय कोयला भवन में बुधवार को रवींद्रनाथ टैगोर की जयंती पर समारोह का आयोजन किया गया. बड़ी संख्या में बीसीसीएल के अधिकारी व कर्मचारियों ने उनकी तस्वीर पर माल्यार्पण कर उन्हें श्रद्धांजलि दी. राजभाषा विभाग द्वारा आयोजित कार्यक्रम में बीसीसीएल के महाप्रबंधक कार्मिक (राजभाषा) विद्युत साहा ने कहा कि गुरुदेव रवींद्र नाथ टैगोर के माध्यम से पहली बार भारतीय मनीषा की झलक पश्चिमी जगत ने देखी. गीतांजलि के प्रकाशित होने के एक साल बाद सन् 1913 में रवींद्रनाथ ठाकुर को नोबल पुरस्कार से सम्मानित किया गया. वे सिर्फ महान रचनाधर्मी ही नहीं थे, बल्कि वह पहले ऐसे इंसान थे जिन्होंने पूर्वी और पश्चिमी दुनिया के मध्य सेतु बनने का कार्य किया था. मौके पर एसपी राय, अपूर्व मित्रा, दिलीप कुमार सिंह समेत बड़ी संख्या में कंपनी के अधिकारी व कर्मचारी उपस्थित थे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है