धनबाद के साइबर अपराधी लोगों को ठगने के लिए अब दूसरे प्रदेश के युवकों का इस्तेमाल कर रहे हैं. बदले में उन्हें तय राशि दी जा रही है. यह खुलासा हुआ है सरायढेला थाना क्षेत्र के सहयोगी नगर सेक्टर थ्री के सृष्टि करुणा इंक्लेव के एक फ्लैट में छापामारी के बाद. यहां से कर्नाटक के दो सहदोर भाई समेत तीन युवकों को गिरफ्तार किया गया है. इसमें बिहार के नालंदा जिला के कतरीसराय बरीठ निवासी छोटेलाल पासवान के पुत्र सोनू पासवान व कर्नाटक बेंगलुरू के साउथ बेंगलुरू, ओल्ड गुड्डाहली, जनता कॉलोनी भुमाता सेवा संघ निवासी राजू के पुत्र बसंत व भरत शामिल हैं. धनसार थाना क्षेत्र का मास्टर माइंड सोनू अभी भी पुलिस की गिरफ्त से बाहर है. उसे पकड़ने के लिए पुलिस छापेमारी कर रही है. उक्त जानकारी साइबर डीएसपी संजीव कुमार ने शुक्रवार को अपने कार्यालय में दी.
प्रतिबिंब ऐप के माध्यम से पकड़ाये युवक :
साइबर डीएसपी संजीव कुमार ने बताया कि तीनों आरोपी प्रतिबिंब ऐप के माध्यम से पकड़े गये हैं. इन लोगों ने कुछ माह पहले तेलंगाना के हैदराबाद के एक व्यक्ति को एक लाख रुपये लोन दिलाने के के लिए प्रोसेसिंग चार्ज के नाम पर 4600 रुपये की ठगी की थी. उक्त व्यक्ति ने हैदराबाद में इसकी प्राथमिकी दर्ज करवायी. वहां उसका नंबर प्रतिबिंब एप में डाल दिया गया. उसके बाद उक्त नंबर धनबाद के सहयोगी नगर में एक्टिव हुआ, तो साइबर थाना की पुलिस ने लोकेशन के आधार पर छापेमारी की. तीनों युवक संदिग्ध स्थिति में पकड़े गये. इन लोगों के पास से वह सिम कार्ड भी मिला, जिससे हैदराबाद के व्यक्ति से ठगी की गयी थी. इसके अलावा 10 मोबाइल फोन, सात सिम कार्ड बरामद किया गया है.कर्नाटक, तेलंगाना व तमिलनाडु से लाये जाते थे युवक :
डीएसपी ने बताया कि पकड़े गये युवकों से पूछताछ के बाद पता चला कि धनसार का सोनू इन लोगों को वेतन पर लाता था. इसमें वैसे युवक रहते थे, जिनकी अंग्रेजी और दक्षिण भारत की भाषा पर अच्छी पकड़ थी. सभी को धनबाद के एक फ्लैट में रखा जाता था. इसके बाद ये लोग दक्षिण भारत के लोगों को उनकी भाषा में फोन कर लोन दिलाने के नाम पर ठगी करते थे. उन्होंने बताया कि पहले भी कई युवक दक्षिण भारत से आये और धनबाद में काम कर वापस लौट गये. मास्टर माइंड सोनू धनसार में कहां रहता है इसकी जानकारी किसी को नहीं है.रांची के व्यक्ति का है फ्लैट :
पुलिस ने बताया कि जिस फ्लैट का उपयोग साइबर अपराध के लिए हो रहा था, वह रांची के किसी रत्नेश कुमार सिंह का है. अब पुलिस पता कर रही है कि कैसे इन लोगों को फ्लैट मिला और वह सोनू को जानते हैं या नहीं.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है