Dhanbad news : आइआइटी में नामांकन लेने वाले 11 अंतर्राष्ट्रीय छात्रों का स्वागत

Dhanbad news : आइआइटी आइएसएम के पीजी कोर्स में कंबोडिया, इथियोपिया, तंजानिया, सीरिया, सोमालिया, सूडान, नेपाल, बांग्लादेश व अन्य देशों के विद्यार्थियों नामांकन ने लिया है.

By Prabhat Khabar News Desk | September 11, 2024 2:21 AM
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वरीय संवाददाता, धनबाद.

आइआइटी आइएसएम में नामांकन लेने वाले 11 अंतर्राष्ट्रीय छात्रों का संस्थान के अंतर्राष्ट्रीय छात्रावास में मंगलवार को समारोह आयोजित कर स्वागत किया गया. आयोजन आइआइटी आइएसएम के डीन इंटरनेशनल रिलेशन्स एंड एलुमनी अफेयर्स (आइआरएए) कार्यालय द्वारा स्टूडेंट एलुमनी इंटरनेशनल रिलेशन्स सेल (एसएआइआरसी) के सहयोग से किया गया. समारोह में प्रत्येक नव-प्रवेशित छात्र को एक स्मृति चिह्न देकर सम्मानित किया गया. वहीं नामांकन लेने वाले अंतर्राष्ट्रीय छात्रों ने अपने-अपने देशों और संस्कृतियों के बारे में और अपने राष्ट्रीय ध्वज के बारे में जानकारी दी,

किन-किन देश के छात्रों ने लिया है नामांकन

: इस वर्ष अब तक कंबोडिया, इथियोपिया, तंजानिया, सीरिया, सोमालिया, सूडान, नेपाल, बांग्लादेश के 11 अंतर्राष्ट्रीय छात्रों को विभिन्न स्नातकोत्तर पाठ्यक्रमों, जिसमें एमटेक, एमएससी – टेक, एमबीए और पीएचडी में प्रवेश दिया गया है. प्रवेश लेने वाले छात्रों की संख्या बढ़कर 19 होने की उम्मीद है, क्योंकि तीन और छात्रों के आइसीसीआर पहल के तहत जल्द ही संस्थान से जुड़ने की संभावना है, जबकि स्व-वित्त पोषित कार्यक्रम के पांच अन्य छात्र शीतकालीन सत्र में नामांकन ले सकते हैं.

संस्थान के ब्रांड एम्बेस्डर की तरह कार्य करेंगे छात्र :

समारोह के मुख्य अतिथि संस्थान के उप निदेशक प्रो धीरज कुमार ने नामांकन लेने वाले छात्रों को संस्थान की विभिन्न क्लबों और सांस्कृतिक एवं खेल गतिविधियों से अवगत कराया. इसके साथ ही अकादमिक गतिविधियों की भी जानकारी दी. उन्होंने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय छात्र अपने-अपने पाठ्यक्रमों को पूरा करने के बाद आइआइटी (आइएसएम) के ब्रांड एम्बेसडर के रूप में अपने-अपने क्षेत्रों में कार्य करेंगे.

दुनिया भर के छात्र जमा होते हैं, सीखते हैं नवाचार :

अंतर्राष्ट्रीय संबंध और पूर्व छात्र मामलों के डीन प्रो. आरएम. भट्टाचार्य ने छात्रों को आधुनिक शिक्षा प्रणाली में सांस्कृतिक आदान-प्रदान के महत्व को रेखांकित किया. उन्होंने छात्रों से अपील की कि वे परिसर के अन्य भारतीय छात्रों के साथ घुल-मिल जाएं, ताकि उनके बीच का बंधन और गहरा हो सके. कहा कि आइआइटी आइएसएम एक ऐसा वातावरण तैयार करता है, जहां दुनिया भर के छात्र एकत्र होते हैं, सीखते हैं, नवाचार करते हैं और विकसित होते हैं.

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