शिकारीपाड़ा. शिकारीपाड़ा प्रखंड क्षेत्र में डायरिया का प्रकोप बढ़ता ही जा रहा है. शहरपुर, सोनाढाब, डुमरिया और चितरागड़िया के बाद सरसडंगाल में आठ लोग आक्रांत हो गये हैं. इसमें एक की हालत गंभीर होने पर दुमका रेफर किया गया है. जानकारी मिलते ही सीएचसी की टीम गांव पहुंच कर पीड़ितों की जांच की. डायरिया पीड़ितों में सरसडंगाल की रहनेवाली 30 वर्षीय धनमुनी बास्की, 36 वर्षीय सबीना टुडू ,70 वर्षीय दुली किस्कू, 18 वर्षीय चंपा मरांडी, 73 वर्षीय मुंडरी किस्कू, 25 वर्षीय दिनेश हांसदा, 50 वर्षीय उपाय किस्कू व 20 वर्षीय मार्शल हांसदा को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया है, जहां इलाज के बाद गंभीर स्थिति में चंपा मरांडी को फूलो झानो मेडिकल कॉलेज अस्पताल दुमका रेफर कर दिया गया है. रविवार को चितरागड़िया 56 वर्षीय पकु टुडू को इलाज के बाद सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र से छुट्टी दे दी गयी थी, पर सोमवार को फिर से दस्त होने पर उन्हें वापस सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया है. रविवार देर शाम व रात को सीएचसी में भर्ती कराये गये मरीजों का इलाज चल रहा है. सोमवार को डॉ स्वर्णप्रिया लकड़ा के नेतृत्व में मेडिकल टीम सरसडंगाल, चितरागड़िया व शहरपुर गांव पहुंची. ग्रामीणों के स्वास्थ्य की जांच की. इस दौरान ग्रामीणों को ओआरएस व दवाइयां दी गयी. लोगों को पानी गर्म कर पीने, गर्म खाना खाने व शौच आदि के बाद साबुन से हाथ धोने की सलाह दी गयी. मेडिकल टीम में चिकित्सक के अलावा सीएचओ अलबिना मरांडी, जीएनएम पूनम मरांडी, एएनएम ललिता हांसदा व रुमा हेंब्रम शामिल थे. प्रभारी चिकित्सा प्रभारी डॉ देवानंद मिश्रा ने बताया कि सीएचसी में पर्याप्त मात्रा में दवा उपलब्ध है. किसी को भी डायरिया के लक्षण होने पर तुरंत पहुंच कर इलाज करायें. ताजा व गर्म भोजन करें. ताकि जल्द स्वस्थ हो सकें.
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