दुमका किशोरी हत्याकांड मामले की जांच को लेकर NCPCR अध्यक्ष ने उठायें कई सवाल, जानें क्या कहा

दुमका में हुए दो वीभत्स घटनाओं की जांच के लिए राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग की टीम दिल्ली से दुमका पहुंची. इस दौरान एनसीपीसीआर के अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो ने मामले की जांच पर कई सवाल उठाये. उन्होंने कहा कि दोनों ही मामलों की जांच करने में जिला प्रशासन अक्षम साबित हो रहा है.

By Prabhat Khabar News Desk | September 6, 2022 11:56 AM

Dumka news: झारखंड की उप राजधानी दुमका में हुए दो वीभत्स घटनाओं की जांच के लिए राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग की टीम दिल्ली से दुमका पहुंची. इस दौरान एनसीपीसीआर के अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो ने मामले की जांच पर कई सवाल उठाये. उन्होंने कहा कि दोनों ही मामलों की जांच करने में जिला प्रशासन अक्षम साबित हो रहा है, इसलिए इन दोनों मामलों की उच्चस्तरीय जांच के लिए एजेंसी से इसकी अनुशंसा करेंगे.

पुलिस की जांच में जतायी गड़बड़ी

एनसीपीसीआर के अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो ने मामलों की पुलिसिया जांच में प्रारंभिक तौर पर गड़बड़ी देखते हुए असंतोष जताया. उन्होंने कहा कि कई बिंदुओं पर अब तक जांच ही नहीं की गयी है. जो आरोपी हैं, वह मूलत: कहां के रहनेवाले थे? इसका उल्लेख नहीं किया गया है. इसके साथ ही घर के सभी सदस्यों के बयान तक नहीं लिये गये हैं. पीड़िता अंकिता के सोशल मीडिया अकाउंट पर भी जांच नहीं हुई है. वहीं, जिस आदिवासी लड़की को मार कर पेड़ से टांग दिया गया, उस मामले में आरोपी अरमान की मां भी संदेह के घेरे में है, जिस पर पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की है. उन्होंने पुलिस को निर्देश दिया है कि वह अरमान की मां से पूछताछ करे. अगर वह जांच में सहयोग न करे तो जरूरत पड़ने पर पुलिस उसे डिटेन करे.

उच्चस्तरीय जांच के लिए एजेंसी से करेंगे अनुशंसा

वहीं, कानूनगो ने कहा कि लगातार ऐसी घटना बड़ी साजिश की ओर इशारा कर रही है. हो सकता है कि बाहर के लोग किशोरवय उम्र की लड़कियों को परेशान कर रहे हैं. बहकावे में ला रहे हैं. संभव है कि योजनाबद्ध तरीके से इस तरह के काम को अंजाम दिया जा रहा है और इसमें कोई बड़ी शक्ति काम कर रही है. इसलिए उच्चस्तरीय जांच एजेंसी से इसकी जांच के लिए अनुशंसा करेंगे.

मृतका के परिजनों से नहीं हुई थी मुलाकात

बता दें कि एनसीपीसीआर के अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो पेट्रोल कांड की शिकार अंकिता के परिवार से मिलने भी पहुंचे थे. लेकिन वहां मृतका के परिजनों से उनकी मुलाकात नहीं हुई. ग्रामीणों से पूछताछ करने पर पता चला कि दुमका बंद करानेवाले लोग उन्हें जीप में बिठाकर ले गये हैं. इसके बाद अध्यक्ष प्रियांक कानूनगो नाराज होकर लौट कर परिसदन पहुंचे. वहां भी पीड़ित परिजनों से मुलाकात नहीं करायी गयी. इस पर कड़ी नाराजगी जताते हुए उन्होंने अधिकारियों से कहा कि पूर्व से ही तय कार्यक्रम था. यह कहा गया था कि दोनों पीड़ित परिवारों से मिलना है. इसके बाद भी लापरवाही बरती गयी.

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