7th Pay Commission: सिदो कान्हू मुर्मू विश्वविद्यालय के शिक्षकेतर कर्मचारियों को 7वें वेतन आयोग की सौगात, हड़ताल खत्म
7th Pay Commission: सिदो कान्हू मुर्मू विश्वविद्यालय के शिक्षकेतर कर्मचारियों को भी अब 7वें वेतनमान का लाभ मिलेगा. आज 77 दिन बाद कर्मचारियों की हड़ताल समाप्त हो गयी. जानें क्या-क्या हुआ है समझौता.
7th Pay Commission|SKMU Strike Latest News| दुमका, आनंद जायसवाल : सिदो कान्हू मुर्मू विश्वविद्यालय (एसकेएमयू) के शिक्षकेतर कर्मचारियों की हड़ताल मंगलवार को खत्म हो गयी. अब विश्वविद्यालय में सभी कार्य पूर्व की भांति सुचारु रूप से चलेंगे. कुछ दिन पूर्व ही कर्मचारी संघ ने हड़ताल समाप्त करने के संबंध में विश्वविद्यालय को एक पत्र सौंपा था, जिसमें संघ ने विश्वविद्यालय को विनोबा भावे विश्वविद्यालय की तर्ज पर एसीपी एवं एमएसीपी बहाल करने की मांग की थी. कुलपति सभागार कक्ष में मंगलवार को कुलपति प्रो बिमल प्रसाद सिंह की अध्यक्षता में सभी पदाधिकारियों एवं शिक्षकेतर कर्मचारी संघ के प्रतिनिधिमंडल की बैठक में इस पर सहमति बन गयी. 1 जनवरी 2016 से पहले नियुक्त शिक्षकेतर कर्मचारियों को पहले की तरह एसीपी एवं एमएसीपी का लाभ मिलता रहेगा. समझौता तिथि से अगले 3 माह तक आंतरिक स्रोतों से एसीपी एवं एमएसीपी का भुगतान किया जाएगा.
समझौते की प्रमुख बातें
- 1 जनवरी 2016 के पूर्व नियुक्त शिक्षकेतर कर्मचारियों को पूर्व की भांति एसीपी एवं एमएसीपी का लाभ मिलता रहेगा.
- समझौता तिथि से अगले 3 माह तक आंतरिक स्रोत से एसीपी एवं एमएसीपी का भुगतान किया जाएगा.
- वर्ष 2012 में नियुक्त कर्मचारियों को एसीपी एवं एमएसीपी का लाभ देने के संबंध में निर्णय आगामी परिषद की बैठक में लिया जाएगा.
- सातवें वेतनमान के अंतर्गत निर्धारित वेतन के आधार पर माह नवंबर से वेतन का भुगतान किया जाएगा.
- हड़ताल अवधि के कुल 77 दिनों को अर्जित अवकाश से समायोजित करने पर बनी है सहमति.
2012 के बाद नियुक्त करक्मचारियों के एमएसीपी पर निर्णय परिषद की बैठक में होगी
वर्ष 2012 में नियुक्त कर्मचारियों को एसीपी एवं एमएसीपी का लाभ देने के संबंध में निर्णय आगामी परिषद की बैठक में लिया जायेगा. 1 जनवरी 2016 के बाद नियुक्त गैर-शिक्षण कर्मचारियों को सरकार को निर्धारित कर भेजा गया सातवें वेतनमान के अंतर्गत निर्धारित वेतन के आधार पर नवंबर से वेतन का भुगतान किया जाएगा.
हड़ताल की अवधि के 77 दिन अर्जित अवकाश में समायोजित होंगे
विश्वविद्यालय एवं कर्मचारियों के बीच हड़ताल अवधि के कुल 77 दिनों को अर्जित अवकाश से समायोजित करने पर सहमति बनी है. जिन कर्मचारियों के अर्जित अवकाश कम हैं, उन्हें भविष्य में अर्जित अवकाश से समायोजित किया जायेगा. जब तक इतनी छुट्टियां समायोजित नहीं हो जायेंगी, ऐसे कर्मचारियों को हड़ताल की अवधि का वेतन नहीं दिया जायेगा.
झारखंड की ताजा खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें
हड़ताल पर गये कर्मचारी मंगलवार से काम पर लौटे
यह भी सहमति बनी कि सभी कर्मचारियों के अर्जित अवकाश में कटौती सेवा पुस्तिका में दर्ज की जायेगी और हड़ताल की अवधि का वेतन उसकी छायाप्रति विश्वविद्यालय में जमा करने के बाद ही देय होगा. सभी कर्मचारियों को उपरोक्त समस्त भुगतान के लिए बंधेज पत्र जमा करना होगा. कर्मचारियों ने मंगलवार से ही योगदान दे दिया. महासंघ के अध्यक्ष परिमल कुंदन एवं महासचिव नेतलाल मिर्धा ने विश्वविद्यालय के सभी पदाधिकारियों एवं कर्मचारियों के प्रति आभार व्यक्त किया.
समझौता बैठक में ये लोग थे मौजूद
समझौता बैठक में वित्तीय सलाहकार ब्रज नंदन ठाकुर, डीएसडब्ल्यू डॉ जैनेंद्र यादव, परीक्षा नियंत्रक डॉ जय कुमार साह, वित्त पदाधिकारी डॉ विजय कुमार, सीसीडीसी डॉ अब्दुस सत्तार, ओएसडी (विधि) डॉ राजीव रंजन सिन्हा, जनसंपर्क पदाधिकारी दीपक कुमार दास, शिक्षकेतर कर्मचारी महासंघ के प्रक्षेत्रीय महासचिव नेतलाल मिर्धा, प्रक्षेत्रीय अध्यक्ष परिमल कुंदन, देव नारायण बेसरा, वीरेंद्र प्रसाद साह, अंजू मुर्मू, सीमा मुर्मू एवं रजिस्ट्रार डॉ राजीव कुमार व अन्य शामिल थे.
इसे भी पढ़ें
Jharkhand Cabinet Meeting: झारखंड कैबिनेट की बैठक 18 फरवरी को शाम 4:00 बजे से
Success Story: दीदी कैफे चलाकर आत्मनिर्भर बनीं गोमिया की 5 महिलाएं
Jharkhand Ka Mausam: 2 डिग्री चढ़ा तापमान, जानें अगले 5 दिन कैसा रहेगा झारखंड का मौसम
11 फरवरी 2025 को आपको कितने में मिलेगा एलपीजी सिलेंडर, यहां देखें 14 किलो वाले गैस का रेट