नवभारत साक्षरता के तहत स्वयंसेवी शिक्षकों को मिली ट्रेनिंग
उल्लास नवभारत साक्षरता कार्यक्रम के तहत प्रमंडलस्तरीय प्रशिक्षण कार्यशाला का आयोजन दुमका डायट में किया गया.
दुमका. उल्लास नवभारत साक्षरता कार्यक्रम के तहत प्रमंडलस्तरीय प्रशिक्षण कार्यशाला का आयोजन दुमका डायट में किया गया. राज्य साक्षरता मिशन प्राधिकरण झारखंड रांची एवं जिला साक्षरता समिति दुमका के संयुक्त तत्वावधान में कार्यशाला का उद्घाटन दुमका के जिला शिक्षा पदाधिकारी भूतनाथ रजवार,जिला शिक्षा अधीक्षक सह सचिव आशीष कुमार हेंब्रम व राज्य नोडल पदाधिकारी मनोज कुमार निराला ने किया. जिला कार्यक्रम समन्वयक अशोक सिंह के संयोजन में आयोजित कार्यशाला के उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए जिला शिक्षा पदाधिकारी ने कहा कि नवभारत साक्षरता कार्यक्रम शिक्षा विभाग का एक महत्वपूर्ण कार्यक्रम है, जिसकी इकाई विद्यालय है. साक्षरता कार्यक्रम विद्यालय स्तर पर ही संचालित होना है. असाक्षरों एवं स्वयंसेवी शिक्षकों के सर्वेक्षण कार्य में आ रही तकनीकी कठिनाइयों को दूर करने के लिए डीआरजी सदस्यों का यह प्रशिक्षण आयोजित किया गया है,जिसे गंभीरता से लेने की जरूरत है,तभी जिले में साक्षरता का काम आगे बढ़ेगा. कार्यशाला में राज्य स्तर से आये नोडल पदाधिकारी मनोज कुमार निराला ने पीपीटी के माध्यम से उल्लास नवभारत साक्षरता कार्यक्रम को लेकर विस्तृत जानकारी दी जिसमें नवभारत साक्षरता कार्यक्रम की रुपरेखा, उसके विविध आयाम और उसके क्रियान्वयन के साथ साथ असाक्षरों एवं स्वयंसेवी शिक्षकों के ऑनलाइन आफ सर्वेक्षण, एक्सल सीट में डाटा इंट्री से लेकर जन चेतना केन्द्र के संचालन तक विस्तार से बताने का प्रयास किया. तीन सत्रों में आयोजित उक्त प्रशिक्षण का अंतिम सत्र ओपेन सेशन रहा जिसमें प्रतिभागियों ने अपने अपने सवाल रखे,जिसके आधार पर शंका समाधान करते हुए उनका मार्गदर्शन किया गया. समापन सत्र को संबोधित करते हुए क्षेत्रीय शिक्षा संयुक्त निदेशक गोपाल कृष्ण झा ने कहा कि हम संताल परगना प्रमंडल को साक्षरता में राज्य स्तर पर आगे देखना चाहते हैं. संताल परगना आदिवासी बहुल क्षेत्र है. यहां के लोग बहुत मेहनती और भोले हैं लेकिन उनमें शिक्षा और साक्षरता की कमी रही है, जिसको उल्लास नवभारत साक्षरता से दूर किया जा सकता है. यह काम शिक्षा विभाग से जुड़े लोग ही कर सकते हैं और वह भी जनसहभागिता से, जिसके लिए गुणवत्तापूर्ण प्रशिक्षण जरूरी है. कार्यशाला में सहयोगी प्रशिक्षक एसआरजी पवन ठाकुर, सुमित कुमार सिन्हा सहित तीन जिले के कुल 50 प्रतिभागियों ने भाग लिया. बुधवार को बाकी तीन जिले देवघर, पाकुड़ और साहेबगंज के प्रतिभागियों को प्रशिक्षण दिया जायेगा. प्रशिक्षण में डायट की प्रभारी प्राचार्य मधुश्री, संकाय प्रभारी प्रियंकर परमेश सहित कई अन्य संकाय प्रभारी भी मौजूद थे.
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