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लकड़ी पर खाना पका रहे लाभुक

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By Prabhat Khabar Digital Desk | July 4, 2018 5:29 AM

गालूडीह में उज्ज्वला योजना का हाल

डेढ़ साल बाद दो-तीन लाभुकों को छोड़ किसी ने दोबारा नहीं भराया गैस
लाभुकों ने कहा मजदूरी कर पेट पालते हैं, गैस भराने के लिए कहां लायेंगे 750 रुपये
गालूडीह : प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना से गरीबों को नि:शुल्क गैस चूल्हा और सिलिंडर देकर सरकार, प्रशासन और जनप्रतिनिधि अपनी पीठ थपथपा रहे हैं, लेकिन जमीन हकीकत कुछ और है. गालूडीह में सैकड़ों ऐसे लाभुक हैं, जिन्होंने दोबारा गैस नहीं भराया. सभी का कहना है कि सिलिंडर भराने के लिए करीब 750 रुपये का जुगाड़ नहीं कर पा रहे हैं. इस कारण गैस चूल्हा और सिलिंडर घर के कोने में रखे हुए हैं. गालूडीह के ऊपरडांगा बस्ती के सैकड़ों लाभुकों को डेढ़ साल पूर्व महुलिया आंचलिक मैदान में समारोह आयोजित कर सांसद विद्युत वरण महतो ने गैस चूल्हा और सिलेंडर का वितरण किया था. दो-चार लाभुक को छोड़ ज्यादातर दोबारा गैस नहीं भरा सके. अब लकड़ी, कोयले और गुल पर भोजन पक रहा है.
मजदूर हैं सिलिंडर के लिए 750 रुपये कहां से लायेंगे : लाभुक: ऊपरडांगा निवासी अजीत दलाई की पत्नी बुलबुली दलाई, हरिपद सिंह की पत्नी मोगली रानी सिंह आदि महिलाओं ने बताया कि गरीब हैं. मजदूरी कर पेट चलता है. झुग्गी-झोपड़ी में रहते हैं. एक मुश्त गैस भराने के लिए 750 रुपये कहां से लायेंगे. जब सिलिंडर मिला तो कई माह गैस चूल्हा जला. गैस खत्म होने के बाद ऐसे ही पड़ा है.
इस बस्ती की ममता साधनदार, बांसती साधनदार, छंदा साधनदार, सीमा दलाई, कल्याणी दलाई, छबि दलाई, तपति नायक, सोनाका गोप, वीणरानी सिंह, बांसती साधनदार, संध्या, ममता, छायारानी दलाई, कल्याणी दलाई आदि लाभुकों ने कहा कि गैस चूल्हे और सिलिंडर पड़े हैं. इनमें कुछ लाभुकों ने काफी मुश्किल से एक वर्ष बाद गैस भराया है. उक्त लाभुकों ने कहा गैस चूल्हे पर सिर्फ चाय, रोटी बनाते हैं. भात,दाल, सब्जी लकड़ी चूल्हे पर पकाते हैं. प्रति माह कहां से 750 रुपये कहां से लायेंगे.

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