Ghatshila News : सैकड़ों साल पुरानी गालूडीह साप्ताहिक हाट के अस्तित्व पर संकट

हाट की जमीन पर हो रहा अतिक्रमण, प्रशासन नहीं दे रहे ध्यान

By Prabhat Khabar News Desk | November 19, 2024 12:03 AM

गालूडीह. सैकड़ों साल पुरानी गालूडीह साप्ताहिक हाट का अस्तित्व मिटने लगा है. हाट की जमीन पर तेजी से अतिक्रमण हो रहा है. हाट दिन पर दिन सिकुड़ रही है. पहले बड़ा भू-भाग में हाट लगती थी. हर सोमवार को यहां साप्ताहिक हाट लगती है, जहां झारखंड-बंगाल के दुकानदार और ग्राहक आते हैं. यह क्षेत्र की सबसे बड़ी हाट है. इस साप्ताहिक हाट से हजारों परिवार की रोजी-रोटी जुड़ी है. इसके बावजूद कोई ध्यान नहीं दे रहा है. हाट के आस-पास कई मुहल्ले बस गये हैं. हाट की जमीन पर शेड देकर घेराबंदी कर ली है. जांच होगी, तो मामला साफ होगा. कई लोग हाट की जमीन पर अतिक्रमण कर अपने व्यवहार में ला रहे हैं. जानकारी हो कि हाट की जमीन केएल फार्म की है. इस जमीन को तीन दशक पहले महुलिया पंचायत के पूर्व सरपंच ने खरीदने का दावा कर घेराबंदी की कोशिश की थी. कई सामाजिक संगठनों ने विरोध किया था. हाट की जमीन को बचायी थी. तर्क था यह सार्वजनिक हाट है, जहां से हजारों लोगों की रोजी-रोटी जुड़ी है. अब फिर से हाट की जमीन अतिक्रमित होने लगी है. सरकार और प्रशासनिक पदाधिकारी इस साप्ताहिक हाट को लेकर उदासीन हैं. कई दशक पहले कुछ शेड बने थे. उसके बाद यहां कोई काम नहीं हुआ. एक शौचालय बना था, वह भी उपयोग के बिना जर्जर हो गया.

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