भवनाथपुर : झारखंड के गढ़वा जिला में मॉनसून की बेरुखी से किसान निराश हैं. खेत सूखे हैं. बिचड़े तक तैयार नहीं हो पाये हैं. आद्रा नक्षत्र बीत गया. जुलाई का एक सप्ताह बीत चुका. मॉनसून अब भी रूठा है और सामान्य से कम बारिश की वजह से किसानों की चिंता बढ़ती जा रही है.
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कृषि विभाग के मुताबिक, इस वर्ष भवनाथपुर प्रखंड में जून में 28 मिमी और जुलाई में अब तक सिर्फ 17 से 20 मिमी बारिश हुई है. एक जून से 6 जुलाई के बीच गढ़वा जिला में सिर्फ 57.2 मिमी बारिश हुई है, जो सामान्य से 69 फीसदी कम है. सामान्य मॉनसून में गढ़वा में इस दौरान 184.8 मिमी बारिश होती है.
कृषि विभाग ने बताया कि प्रखंड में आमतौर पर जून में 121.2 मिमी और जुलाई में 344.7 मिमी बारिश होती है. इस बार सामान्य से 75 फीसदी कम बारिश हुई है. हालांकि, पिछले साल पर्याप्त बारिश हुई थी. पिछले साल की तुलना में इस बार एक चौथाई ही बारिश हुई है. इसका सीधा असर धान की खेती पर पड़ रहा है.
बारिश की कमी की वजह से बिचड़े नहीं पड़े हैं. जिन्होंने बिचड़े डाले हैं, वह उसे बचाने की जद्दोजहद में लगे हैं. इस बीच, मौसम विभाग ने कहा है कि जिले में मॉनसून ने दस्तक दे दी है. लेकिन, प्रखंड में सिर्फ बूंदाबादी ही हुई है. यहां 20 जून तक गर्म हवाएं व लू चल रही थी.
उम्मीद थी कि मॉनसून में झमाझम बारिश होगी, लेकिन ऐसा हुआ नहीं. धान बुआई के लिए महत्वपूर्ण समय रोहिणी एवं मृगशिरा नक्षत्र खत्म हो चुके. खेद अब भी बारिश की बूंदों के लिए तरस रहे हैं. खेतों में दरारें देख किसान सूखे की आशंका से सहम गये हैं.