बिना नियुक्ति पत्र या आदेश के कार्यरत हैं पांच कंप्यूटर ऑपरेटर

बिना नियुक्ति पत्र या आदेश के कार्यरत हैं पांच कंप्यूटर ऑपरेटर

By Prabhat Khabar News Desk | October 6, 2024 9:47 PM

रंका प्रखंड कार्यालय में छह मनरेगा ऑपरेटर अनधिकृत रूप से कार्य कर रहे हैं. न ही इनके पास कोई नियुक्ति पत्र है और न ही जिला से कोई आदेश. पर ये लोग प्रखंड एवं पंचायतों में मनरेगा सहित अन्य कार्य कर रहे हैं. इनमें रिजवान अंसारी, संजय ठाकुर, दीपक प्रजापति-1, दीपक प्रजापति -2, अजय कुमार व विवेकानंद ठाकुर शामिल हैं. इनमें से रिजवान अंसारी का अभी कंप्यूटर ऑपरेटर के पद पर चयन हुआ है. इसके बाद भंडरिया प्रखंड कार्यालय में कंप्यूटर ऑपरेटर के पद पर इसका पदस्थापना किया गया. पर वह अनधिकृत रूप से रंका प्रखंड के बाहाहारा एवं सोनदाग पंचायत का ही मनरेगा कार्य कर रहा है. यह अपने घर से यह काम करता है. उपरोक्त सभी ऑपरेटरों को लॉग-इन आइडी एवं पासवर्ड भी उपलब्ध करा दिया गया है. इन सभी कंप्यूटर ऑपरेटरों द्वारा गलत तरीके से योजनाओं का एमआइएस किया जा रहा हैं. इस कारण वित्तीय अनियमितता की संभावना बनी रहती है.

सही तरीके से एक व फर्जी तरीके से पांच कार्यरत : गौरतलब है कि प्रखंड कार्यालय में मनरेगा के तहत सृजित पद पर सिर्फ एक कर्मी परमानंद यादव कार्यरत हैं. पर बाहरी आपरेटर रिजवान अंसारी, संजय ठाकुर, दीपक प्रजापति वन, दीपक प्रजापति टू, अजय कुमार व विवेकानंद ठाकुर से प्रखंड कार्यालय में मनरेगा एवं अन्य कार्य कराया जाता है. इस संबंध में पूछे जाने पर प्रभारी बीडीओ अनिल रविदास ने कहा कि उन्होंने अभी एक सप्ताह पहले प्रभार लिया है. उन्हें इन कंप्यूटर ऑपरेटरों की नियुक्ति के बारे में जानकारी नहीं है. मामले की जांच कर आगे कार्रवाई की जायेगी.

हटा देने के बाद भी कार्यरत : इधर बीपीओ सोनु कुमार ने कहा कि एक अक्टूबर से उक्त सभी कंप्यूटर ऑपरेटरों को हटा दिया गया है. लेकिन यहां सभी कार्य करते नजर आते हैं. उल्लेखनीय है कि मनरेगा आयुक्त, ग्रामीण विकास विभाग की ओर से मनरेगा में सृजित पदों के अतिरिक्त अन्य पदों पर कार्यरत कर्मियों से काम नहीं लेने का आदेश जारी हुआ है. इसी आलोक में उपायुक्त गढ़वा के निर्देश (पत्रांक-1058, दिनांक 2.8.24) में कहा गया है कि बीडीओ द्वारा यदि अनधिकृत रूप से कंप्यूटर ऑपरेटर को बहाल कर कोई अनियमित कार्य किया जाता है, तो इसकी जवाबदेही बीडीओ की होगी. लेकिन उपायुक्त द्वारा निर्गत पत्र की अवहेलना कर प्रखंड कार्यालय में बाहरी कंप्यूटर ऑपरेटरों से कार्य कराया जा रहा है. ये लोग गत कई वर्षों से अनधिकृत रूप से रंका प्रखंड के मनरेगा सहित अन्य योजनाओं के कार्यों का निष्पादन कर रहे हैं.

पुलिस कर्मी भाई के लिए भी अबुआ आवास : अवैध तरीके से कार्यरत रिजवान अंसारी ने अपने दो छोटे भाई फैजान अंसारी और रेहान अंसारी के नाम से बिना जरूरी कागजात के अबुआ आवास का रजिस्ट्रेशन कर दिया है. जबकि उसका एक भाई फैजान अंसारी झारखंड पुलिस में है. इन दोनों भाइयों की अभी शादी भी नहीं हुई है. फिर भी अबुआ आवास के लिए रजिस्ट्रेशन करा दिया गया है. इन दोनों भाइयों ने आपकी योजना, आपकी सरकार कार्यक्रम में अबुआ आवास का आवेदन भी जमा नहीं किया है. फिर भी दोनों भाइयों को अबुआ आवास के लिए गलत तरीके से रजिस्ट्रेशन कर दिया गया है.

जांच कर कार्रवाई होगी : डीडीसी

इस संबंध में पूछे जाने पर उप विकास आयुक्त पशुपति नाथ मिश्र ने कहा कि अनधिकृत रूप से कार्य कर रहे मनरेगा ऑपरेटरों के बारे में उन्हें जानकारी नहीं है. इन्हें कैसे और किसने नियुक्त किया है. इसकी जांच कर कार्रवाई की जायेगी. उन्होंने कहा कि जिला स्तर से कंप्यूटर ऑपरेटर व एमटीएस की नियुक्ति कर इनका पदस्थापना किया जाता है.

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