अबुआ आवास के आवेदकों की संख्या ढाई लाख के पार
अबुआ आवास के आवेदकों की संख्या ढाई लाख के पार
सरकार आपके द्वार के तहत इस साल आयोजित शिविर में जो लोग आवेदन देकर इत्मिनान हैं कि उन्हें आवास योजना का लाभ मिल जायेगा, उन्हें अभी कुछ सालों तक निराशा हाथ लगनेवाली है. क्योंकि अभी गत वर्ष आयोजित सरकार आपके द्वार शिविर के सभी आवेदकों को ही योजना का लाभ नहीं मिल सका है. हर वर्ष सरकार आपके द्वार के तहत लगनेवाले शिविर में आवेदन देने वाले ज्यादातर लोग आवास योजना का लाभ लेना चाहते हैं. इस वजह से आवास योजना के आवेदकों की सूची काफी लंबी हो चुकी है. बीते साल 2023 एवं वर्तमान साल 2024 में आयोजित सरकार आपके द्वार के शिविरों में आवेदन देने वालों की संख्या 2.50 लाख से ज्यादा है. वहीं इसके विरुद्ध अबुआ आवास बनाने का लक्ष्य वर्ष 2023 में 10,003 एवं 2024 में 36,686 ही है. इस हिसाब से यदि सिर्फ इन्हीं दो लाख लोगों को आवास योजना का लाभ दिया जाये, तो भी लक्ष्य के हिसाब से सबको आवास देने में वर्षों लग जायेंगे. यद्यपि जिला प्रशासन की ओर से आवेदनों के आधार पर लाभुकों का भौतिक सर्वेक्षण कराकर उनकी फ्रेश सूची बनायी जा रही है तथा अयोग्य लोगों को हटाया भी जा रहा है. लेकिन इसके बावजूद प्राय: यह आरोप लगता रहा है कि योग्य लोगों को ही हटाकर आयोग्य लोगों को आवास का लाभ दे दिया जा रहा है. कितनी लंबी है अबुआ आवास योजना के लाभुकों की सूची अबुआ आवास योजना के तहत ग्रामीणों को दो लाख रु की आर्थिक मदद दी जाती है. यह राशि पीएम आवास योजना के तहत मिलनेवाली राशि से काफी ज्यादा है. राज्य सरकार द्वारा साल 2023 में आयोजित सरकार आपके द्वार कार्यक्रम में अबुआ आवास योजना के लिए करीब 1.73 लाख आवेदन प्राप्त हुए थे. जबकि इस साल अगस्त महीने में आयोजित सरकार आपके द्वार शिविर में अबुआ आवास के करीब 86 हजार आवेदन प्राप्त हुए हैं. इस हिसाब से 2.59 लाख लोग अब तक आवास योजना के लिए आवेदन जमा कर चुके हैं. इनमें से वित्तीय वर्ष 2023-24 में 10,003 तथा वित्तीय वर्ष 2024-25 में 36,686 लोगों को आवास देने का लक्ष्य प्राप्त हुआ है. यानी करीब 46 हजार लोगों को ही आवास योजना का लाभ दो साल में दिया जा सका है. इस हिसाब से अभी भी 2.10 लाख लोग आवास पाने की प्रतीक्षा में हैं. यद्यपि इस सूची में कई अयोग्य लोग भी शामिल हैं. अभी 1146 को ही मिली प्रथम किस्त की राशि यहां यह भी गौरतलब है कि चालू वित्तीय वर्ष 2024-25 में छह महीने बीतने के बाद भी 36,686 लोगों के लक्ष्य के विरुद्ध मात्र 1146 लोगों को ही प्रथम किस्त (30 हजार रु) की राशि मिली है. जबकि 35 हजार से ज्यादा लोगों को प्रथम किस्त की राशि भी नहीं दी गयी है.
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