सदर अस्पताल में महिला की मौत की जांच की मांग
गिरिडीह : मंगलवार की रात को गिरिडीह सदर अस्पताल में उदनाबाद की एक महिला की प्रसव के बाद हुई मौत के मामले में भाकपा-माले ने उच्चस्तरीय जांच की मांग की है. माले के राज्य कमेटी सदस्य राजेश यादव ने बताया कि मंगलवार की रात को अनिता देवी की मौत की जानकारी पर वे रात 12:15 […]
गिरिडीह : मंगलवार की रात को गिरिडीह सदर अस्पताल में उदनाबाद की एक महिला की प्रसव के बाद हुई मौत के मामले में भाकपा-माले ने उच्चस्तरीय जांच की मांग की है. माले के राज्य कमेटी सदस्य राजेश यादव ने बताया कि मंगलवार की रात को अनिता देवी की मौत की जानकारी पर वे रात 12:15 बजे सदर अस्पताल पहुंचे जहां परिजनों ने उन्हें बताया कि इलाज में लापरवाही के कारण अनिता देवी की मौत हुई है. मौत के बाद स्वास्थ्यकर्मी ने दो घंटे तक परिजनों की व्यथा भी नहीं सुनी.
रात में एसडीएम भी पहुंची और परिजनों से मामले की जानकारी ली और परिजनों को लिखित शिकायत करने को कहा. इस मामले को लेकर माले नेता राजेश यादव व राजेश सिन्हा ने प्रेस बयान जारी कर कहा कि परिजनों ने यह भी जानकारी दी है कि महिला को भर्ती करने के बाद उनसे 2000 रुपया भी यह कहकर ले लिया कि पैसा नहीं देने पर ऑपरेशन करना पड़ेगा. प्रेस बयान में माले नेताओं ने कहा है कि प्रथम दृष्टया यह अस्पताल की लापरवाही का मामला प्रतीत होता है. नॉर्मल डिलीवरी के बाद महिला की अचानक से मौत हो जाना कई सवाल खड़े करता है. भर्ती लिए जाने के समय महिला का प्रॉपर चेकअप किया गया या नहीं, यह एक बड़ा सवाल है.
मामले को लेकर अस्पताल की व्यवस्था के बजाय एसडीएम की भूमिका पर सवाल खड़ा करना कहीं से भी उचित नहीं है. माले नेताओं ने कहा कि अस्पताल की कुव्यवस्था के लिए सीधे तौर पर भाजपा की सरकार जिम्मेदार है, जिसके शासन में अस्पताल न तो सुविधा संपन्न हो पाया और न ही अस्पताल की व्यवस्था ही सुधर पायी है. गिरिडीह जिले में भाजपा के 4-4 विधायक और 2 सांसद रहने के बावजूद यहां के अस्पताल में डॉक्टरों की कमी है. भाकपा माले इस पूरी घटना में अस्पताल की कुव्यवस्था को लेकर उच्च स्तरीय जांच एवं दोषियों पर कार्रवाई की मांग करती है. साथ ही पीड़ित परिवार को पर्याप्त मुआवजा देने की भी मांग करती है.