ऐसा लग रहा है कि दुकानदार नगर निगम पर भारी पड़ रहे हैं. निगम ने इन्हें स्थल मुहैया करा दिया है. बावजूद ये वेंडिंग जोन में दुकान लगाने में आनाकानी कर रहे हैं. वेंडिंग जोन की जगह सड़कों के किनारे दुकान लगायी जा रही है. शहर की सड़कों का स्थायी और अस्थायी अतिक्रमण कर लिया गया है. इससे जाम की समस्या उत्पन्न हो रही है और जनता परेशान हो रही है.
शहरी क्षेत्र की मुख्य सड़कों के किनारे सब्जी, फल, ठेला व खोमचे की दुकानें सजती हैं. कचहरी रोड में बाइक पार्किंग स्थल में फास्ट फूड की दुकानें लगायी जा रही हैं. अतिक्रमण की वजह से सड़क की चौड़ाई कम गयी है और जाम उत्पन्न होता है. आरोप है कि सड़क किनारे सब्जी, फल व फास्ट फूड दुकान लगाने के लिए निगम के कतिपय कर्मी अवैध वसूली करते हैं. हालांकि अधिकारी इससे इंकार कर रहे हैं. उनका कहना है कि दुकानदार ही जाने को इच्छुक नहीं हैं.दुकानदार के साथ-साथ टोटो चालक भी हैं जाम की वजह
अतिक्रमण की वजह से शहरी क्षेत्र की प्रमुख सड़कों पर अक्सर जाम लग जाता है. जाम की वजह फुटपाथियों के अलावा टोटो चालक भी हैं, जो बेतरतीब तरीके से वाहनों का संचालन करते हैं. नगर निगम क्षेत्र में पचंबा से लेकर बड़ा चौक तक जाम की समस्या से लोगों को दो-चार होना पड़ता है. इससे मरीजों के अलावा आम जनता को भी काफी समस्या होती है. स्कूल-कॉलेज में छुट्टी के दौरान सड़कों पर जाम रहने के कारण विद्यार्थियों को भारी फजीहत का सामना करना पड़ता है. ऐसा कोई दिन नहीं होता, जब शहरी क्षेत्र में जाम की समस्या उत्पन्न नहीं होती हो. शहर की कोई भी सड़क जाम से मुक्त नहीं है. अहम बात यह है कि यहां के जनप्रतिनिधि और प्रशासनिक अधिकारी समस्या से भली-भांति अवगत है, किंतु कोई ठोस पहल नहीं कर पा रहे. अतिक्रमण हटाओ अभियान के नाम पर कभी-कभार चेतावनी देकर कोरम पूरा कर लिया जाता है.इन मुख्य सड़कों के किनारे सजती हैं दुकानें
बड़ा चौक, गांधी चौक, कचहरी रोड, मौलाना आजाद चौक, मुस्लिम बाजार, आंबेडकर चौक, कालीबाड़ी चौक, मकतपुर चौक, पचंबा, अलकापुरी चौक आदि जगहों पर सड़कों के किनारे दुकानें सजती हैं. वहीं कई इलाकों में तो सड़क पर ही दुकान लगा दी जा रही है. बड़ा चौक से गांधी चौक के बीच सड़क पर ही फुटपाथियों की दुकानें लग रही हैं. अहम बात यह है कि इस पथ से वाहनों का भी आवागमन होता है. ऐसे में दुर्घटना की आशंका बनी रहती है. कचहरी रोड में सड़क किनारे मछली की दुकान लगती है और मछली की चोइया डस्टबिन के बजाय नाला में ही फेंक दी जाती है. इससे दुर्गंध फैलती है. मकतपुर सब्जी मार्केट में दुकान तो बना दी गयी है, लेकिन यहां पर भी शिफ्टिंग की प्रक्रिया शुरू नहीं हुई है.वेंडिंग जोन में है दुकान लगाने की व्यवस्था
बता दें कि नगर विकास एवं आवास विभाग से स्वीकृति के बाद नगर निगम ने शहरी क्षेत्र के दो स्थानों पर वेंडिंग जोन का निर्माण कराया है. बाभनटोली में 50 लाख की लागत से और बस स्टैंड रोड स्थित अग्निशमन विभाग के सामने 98 लाख की लागत से इसका निर्माण कराया गया है. इन दोनों वेंडिंग जोन में दुकान लगाने की व्यवस्था है. नगर विकास एवं आवास विभाग के निर्देश के आलोक में पथ विक्रेताओं को कारोबार करने के लिए नये स्थानों में शिफ्ट कराना है. वेंडिंग जोन बने लगभग तीन वर्ष से अधिक हो चुके हैं. इस बीच निगम ने पथ विक्रेताओं के आवेदन के आलोक में उन्हें स्थान मुहैया करा दिया. साथ ही, बस स्टैंड रोड स्थित अग्निशमन विभाग के सामने वेंडिंग जोन के समक्ष 10 दुकानें भी बनायी गयी हैं. इनमें से एकाध दुकानों को खोला गया है. शेष बंद हैं.54 पथ विक्रेताओं को किया गया है स्थल आवंटित
डे-एनयूएलएम योजना के एसयूएसवी घटक अंतर्गत नवनिर्मित दोनों वेंडिंग जोन में नगर निगम की ओर से 54 पथ विक्रेताओं को स्थल आवंटित किया गया है. इनमें से गिरिडीह बस स्टैंड रोड स्थित अग्निशमन विभाग के समक्ष बनाये गये वेंडिंग जोन में 30 एवं बाभनटोली पानी टंकी के पास स्थित वेंडिंग जोन में 24 चयनित पथ विक्रेताओं को तीन फरवरी 2022 को ही स्थल आवंटित किया गया था. इनमें सब्जी विक्रेता और फल विक्रेता शामिल हैं. चयनित पथ विक्रेताओं से नगर निगम द्वारा आवंटित स्थल में अपना व्यवसाय प्रारंभ करने का निर्देश लगातार दिया जाता रहा है, किंतु अब तक वेंडिंग जोन में फुटपाथियों द्वारा दुकानें नहीं लगायी गयी हैं.उप नगर आयुक्त, नगर निगम प्रशांत कुमार लायक ने कहा कि शहरी क्षेत्र में पथ विक्रेताओं के लिए दो वेंडिंग जोन बनाये गये हैं. वेंडिंग जोन में पथ विक्रेताओं को स्थल आवंटित किया गया है. पथ विक्रेताओं को वेंडिंग जोन में शिफ्ट कराने का प्रयास किया जा रहा है. कोशिश है कि जल्द से जल्द यहां पर दुकानें लगें. निगम नागरिक सुविधाओंं को लेकर अपना दायित्व निभा रहा है. शहर को साफ व सुंदर रखना सबों का कर्तव्य है.
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