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कोरोना का संकट : झारखंड के हॉटस्पॉट रांची-बोकारो ने बढ़ायी गिरिडीह की चिंता

गिरिडीह : गिरिडीह का सौभाग्य है कि अब तक यहां एक भी कोरोना पॉजिटिव केस नहीं मिला. लेकिन बचे रहने के लिए यह काफी नहीं. कोरोना संक्रमण के झारखंड के दोनों हॉटस्पॉट रांची व बोकारो गिरिडीह के सघन संपर्क में हैं. इस चुनौती को लेकर गिरिडीह का स्वास्थ्य विभाग पूरी तरह जिम्मेदार भूमिका में है. […]

गिरिडीह : गिरिडीह का सौभाग्य है कि अब तक यहां एक भी कोरोना पॉजिटिव केस नहीं मिला. लेकिन बचे रहने के लिए यह काफी नहीं. कोरोना संक्रमण के झारखंड के दोनों हॉटस्पॉट रांची व बोकारो गिरिडीह के सघन संपर्क में हैं. इस चुनौती को लेकर गिरिडीह का स्वास्थ्य विभाग पूरी तरह जिम्मेदार भूमिका में है. भावी स्थितियों से जूझने की उसकी पूरी तैयारी जनता में आश्वस्ति उपजाती है. इसीलिए सीएस कोरोना से जंग में विभागीय समन्वय व जन सहयोग को दो प्रमुख हथियार मान रहे हैं. अभय वर्मा4गिरिडीह. कोरोना वायरस को लेकर स्वास्थ्य महकमा पूरी तरह तैयार है. यह दावा सिविल सर्जन डा. अवधेश कुमार सिन्हा ने शुक्रवार को किया. कहा कि संक्रमण की रोकथाम को लेकर सतर्क विभाग लोगों को जागरूक कर रहा है. जिला प्रशासन के सहयोग से शहर के सार्वजनिक स्थानों, बस स्टैंड, रेलवे स्टेशन सहित विभिन्न स्थानों पर बैनर पोस्टर लगाये गये हैं. उन्होंने कहा कि फिलहाल कोरोना वायरस से बचाव का सबसे कारगर साधन लॉकडाउन व सोशल डिस्टेंसिंग है.

सीमित संसाधनों में बेहतर का प्रयास : सीएस ने कहा कि इसकी कोई दवा नहीं होने से संक्रमण से बचाव ही इसका कारगर उपाय है. रांची, बोकारो में कोरोना से संक्रमित मरीज मिलने की खबर ने यहां स्वास्थ्य विभाग की चिंता बढ़ा दी है. सीएस ने दावा किया कि सीमित संसाधनों में ही यहां बेहतरी का प्रयास किया जा रहा है. इसमें डीसी, विधायक व सामाजिक संगठनों का अहम रोल है. टीम के बीच समन्वय पर फोकस : उन्होंने बताया कि तैयारियों का आकलन करने के लिए दो दिनों पूर्व गिरिडीह में मॉक ड्रिल हुई थी. इसमें नजर आयी कमियों को दूर करने के लिए शुक्रवार को सदर अस्पताल सभागार में क्यूआरटी (क्विक रिस्पांस टीम) को ट्रेन किया गया. कहा कि पॉजिटिव मरीज निकला तो मॉक ड्रिल में क्या खामियां रहीं उसका प्रशिक्षण दिया गया. सीएस ने कहा कि मॉक ड्रिल में टीम के बीच समन्वय का अभाव दिखा. प्रशिक्षण को उन खामियों पर फोकस किया गया. प्राथमिक उपचार की है पूरी तैयारी : सीएस डा सिन्हा ने बताया कि कोरोना वायरस के प्राथमिक उपचार की यहां सारी तैयारी पूरी है. रोकथाम को लेकर जनता को जागरूक किया जा रहा है.

कहा कि विभाग सोशल डिस्टेंसिंग पर फोकस दे रहा है क्योंकि इसी से बचाव संभव है. उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य कर्मियों को मिलने वाली सारी सुविधाएं उपलब्ध हैं. 113 पीपीइ किट है उपलब्ध : सीएस ने कहा कि फिलहाल सदर अस्पताल में 28 बोरी ब्लीचिंग पाउडर, 38 बोतल फिनाइल, 100 कैप, सहिया के लिए 400 थ्री लेयर मास्क, सीएचसी के लिए 175 सैनेटाइजर, वीटीएम किट 120, ग्लव्स 400 मुख्यालय में रखे गये है. जरूरत होने पर रांची से तत्काल मंगाने की व्यवस्था है. बताया कि शुक्रवार तक सदर अस्पताल में 113 पीपीइ (पर्सनल प्रोटेक्टिव इक्यूपमेंट) उपलब्ध हैं. इसके अलावा 1350 मास्क एन-95 की व्यवस्था है. उन्होंने कहा कि गुरुवार तक गिरिडीह से जांच के लिए कुल 68 स्वाब भेजे गये हैं, इनमें आयी सभी 32 की रिपोर्ट निगेटिव है. पूर्व में जांच के लिए गये 36 नमूनों की रिपोर्ट लंबित है. कोट:::605 हाइड्रोक्लोरोक्वीन की टेबलेट : सीएससीएस डा. अवधेश कुमार सिन्हा ने बताया कि फिलहाल सदर अस्पताल में दो सौ एमजी की 605 टेबलेट हैं. उन्होंने कहा कि फिलहाल कोरोना वायरस की कोई दवा नहीं बनी है, पर प्राथमिक उपचार में क्लोरोक्वीन इस्तेमाल की जा रही है. कहा कि एक मरीज को 14 क्लोरोक्वीन टेबलेट की जरूरत होती है, फिलहाल 43 लोगों के लिए दवा उपलब्ध है. कहा कि यह जिला का सौभाग्य है कि अभी तक यहां संक्रमण की एक भी शिकायत नहीं आयी है. आपात स्थिति आयी तो चार वेंटिलेटर व चौदह आइसीयू की भी व्यवस्था है. उन्होंने दावा किया कि जरूरत हुई तो किसी चीज की कमी नहीं होगी.

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