अंगिका साहित्य को द्वितीय राज्यभाषा का दर्जा देने की मांग

तस्वीर: 07 राधेश्याम चौधरीनगर प्रतिनिधि,गोड्डाख्याति प्राप्त युवा कवि राधेश्याम चौधरी द्वारा सरकार से अंगिका साहित्य को द्वितीय राज्य भाषा का दर्जा दिये जाने की वकालत की है. श्री चौधरी ने कहा कि झारखंड व गोड्डा में अंगिका भाषा व साहित्य का काफी महत्व है. बावजूद अब तक इसे दूसरे राज्य भाषा का दर्जा नहीं मिल […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 6, 2015 8:04 PM

तस्वीर: 07 राधेश्याम चौधरीनगर प्रतिनिधि,गोड्डाख्याति प्राप्त युवा कवि राधेश्याम चौधरी द्वारा सरकार से अंगिका साहित्य को द्वितीय राज्य भाषा का दर्जा दिये जाने की वकालत की है. श्री चौधरी ने कहा कि झारखंड व गोड्डा में अंगिका भाषा व साहित्य का काफी महत्व है. बावजूद अब तक इसे दूसरे राज्य भाषा का दर्जा नहीं मिल पाया है. जबकि गत फरवरी माह में मंत्री सीपी सिंह द्वारा अंगिका साहित्य को द्वितीय राज्य भाषा का दर्जा दिये जाने की घोषणा की जा चुकी है. श्री चौधरी ने कहा कि अंगिका साहित्य के क्षेत्र में इतना बड़ा निर्णय लिये जाने के बाद भी इस दिशा में क ोई कार्य नहीं किये जाने से अंगिका साहित्यकार आहत हैं. श्री चौधरी ने यह भी कहा कि पुराने समय में गोड्डा जिला को अंग क्षेत्र के रूप में जाना जाता था. अंगिका साहित्य को राज्य भाषा का दर्जा नहीं दिया जाना समझ से परे है. उन्होंने रघुवर सरकार से द्वितीय राज्य भाषा का दर्जा अंगिका साहित्य को दिये जाने की मांग की है.

Next Article

Exit mobile version