श्रमदान कर स्वयंसेवी सहायता समूह की महिलाओं ने बनायी अस्थाई बांध
महिला नेतृत्व की शक्ति का उत्कृष्ट उदाहरण भी है
पोड़ैयाहाट प्रखंड के हरियारी गांव की महिलाओं ने जल संरक्षण के लिए एक अनोखी और प्रेरणादायक पहल की है. उन्होंने सामूहिक नेतृत्व में एक अस्थायी बांध बनाकर नाले के पानी को इकट्ठा किया और फसलों की सिंचाई में मदद की. यह पहल न केवल जल समस्या का समाधान है, बल्कि सामुदायिक एकजुटता और महिला नेतृत्व की शक्ति का उत्कृष्ट उदाहरण भी है. गांव की नलिनी हांसदा और महिला संगठन के अन्य सदस्यों ने यह कर दिखाया है कि जब महिलाएं नेतृत्व संभालती हैं, तो वे न केवल परिवार बल्कि पूरे समाज के लिए सकारात्मक बदलाव ला सकती है. हरियारी गांव की यह अनोखी पहल जल प्रबंधन और ग्रामीण विकास के लिए एक प्रेरणा है. यह दर्शाती है कि सामुदायिक भागीदारी और महिला नेतृत्व से जल संरक्षण और ग्रामीण विकास में महत्वपूर्ण योगदान दिया जा सकता है.
इस पहल के मुख्य बिंदु हैं
सामुदायिक भागीदारी :
हरियारी गांव की महिलाओं ने सामूहिक नेतृत्व में इस पहल को शुरू किया.जल संरक्षण :
अस्थायी बांध बनाकर नाले के पानी को इकट्ठा किया गया.फसलों की सिंचाई :
इकट्ठा किए गए पानी का उपयोग फसलों की सिंचाई में किया गया.महिला नेतृत्व :
प्रदान संस्था की नलिनी हांसदा और महिला संगठन के अन्य सदस्यों ने इस पहल का नेतृत्व किया.यह पहल जल प्रबंधन और ग्रामीण विकास के लिए एक प्रेरणा है और यह दर्शाती है कि सामुदायिक भागीदारी और महिला नेतृत्व से महत्वपूर्ण योगदान दिया जा सकता है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है