तुलसीकित्ता हरिजन टोला में नहीं है एक भी सरकारी चापाकल
हरिजन टोला में बसे 35 घरों के ग्रामीण पानी की जुगाड़ के लिए भटकने को हैं मजबूर
पथरगामा पंचायत के तुलसीकित्ता हरिजन टोला में पेयजल की गंभीर समस्या से टोला के ग्रामीण जुझते नजर आ रहे हैं. बता दें कि तुलसीकित्ता हरिजन टोला में एक भी सरकारी चापाकल नहीं है. ऐसे में ग्रामीणों को साल के 365 दिन दूर भटक कर पानी का जुगाड़ करना पड़ता है. ग्रामीण केशवटीकर, कमलडीहा, शीतला स्थान, चिहारो पहाड़ के चापाकल से पानी का जुगाड़ करने को मजबूर हैं. कहने को तो टोले में एक पुराना सरकारी कुआं है, किंतु कुआं का जलस्तर नीचे रहने के कारण पानी पीने योग्य नहीं है. पेयजल की व्यवस्था पर सरकारी तंत्र टोले में पूरी तरह से फेल साबित हो रहा है. ग्रामीणों ने बताया कि विगत देशों की बात की जाये, तो कई बार पंचायत प्रतिनिधि, जनप्रतिनिधि के साथ-साथ प्रखंड प्रशासन से हरिजन टोला में एक सरकारी चापाकल दिये जाने की मांग की जाती रही है. इसके बावजूद इस दिशा में आज तक किसी ने पहल करना उचित नहीं समझा.
चापाकल नहीं रहने से सबसे अधिक परेशानी महिलाओं को
ग्रामीणों ने बताया कि टोला में चापाकल नहीं रहने के कारण सबसे अधिक कठिनाई महिलाओं को होती है. बता दें कि हरिजन टोला में कुल 35 घर हैं जो प्रत्येक दिन पानी की जुगाड़ के लिए दर दर भटकने को मजबूर हैं. हरिजन टोला निवासी टिंकू रविदास, पप्पू रविदास, श्याम कुमार दास, छोटू रविदास, मिथिलेश दास, रौशन दास, प्रदीप रविदास, राकेश दास, सुमन दास, राहुल राज, मो मीरा, गुड़िया देवी, संगीता देवी, आरती देवी, सुभद्रा देवी, रुकमणी देवी, मुन्नी देवी समेत ग्रामीणों ने गोड्डा के नवनिर्वाचित विधायक सह श्रम मंत्री संजय प्रसाद यादव से तुलसीकित्ता हरिजन टोला में यथाशीघ्र सरकारी चापाकल की व्यवस्था कराए जाने की मांग की है ताकि टोले के लोगों को पानी के लिए बाहर भटकना नहीं पड़े.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है