दुर्जय पासवान, गुमला
गुमला, सिसई व चैनपुर प्रखंड में अलग-अलग घटनाओं में वज्रपात की चपेट में आने से मनरेगा मजदूर समेत तीन की मौत हो गयी. जबकि दो लोग घायल हैं. घायलों का इलाज अस्पताल में हो रहा है. पहली घटना गुमला के कीता गांव में सोमवार को घटी. यहां मनरेगा मजदूर रमेश तुरी (31 वर्ष) की मौत हो गयी. वहीं उसका दोस्त गंगा सिंह घायल है.
गांव के हेमंत दुबे ने बताया कि रमेश मनरेगा मजदूर है. वह दोपहर में मनरेगा योजना के तहत कूप खोदने के लिए कतरी गांव जा रहा था. तभी रास्ते में बारिश शुरू हो गयी. रमेश एक पेड़ के नीचे बारिश से बचने लगा. तभी वज्रपात पेड़ पर हुआ. जिसकी चपेट में रमेश भी आ गया. जिससे उसकी मौत हो गयी. घटना के बाद शव पेड़ के नीचे पड़ा हुआ है. इसकी सूचना प्रशासन को दे दी गयी है.
दूसरी घटना सिसई थाना क्षेत्र के खेदुवाटोली गांव की है. इस गांव में आनंद उरांव (18) की मौत वज्रपात की चपेट में आने से हो गयी. पुलिस को सूचना मिलने पर घटना स्थल पहुंचकर शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए सदर अस्पताल गुमला भेज दिया गया. जानकारी के अनुसार रविवार की रात 12 बजे अचानक तेज बादल गर्जन के साथ बारिश होने लगी.
आनंद उरांव रात में आंगन में पसारे हुए कपड़े को अंदर करने के लिए बाहर निकला था. तभी वह वज्रपात की चपेट में आ गया. जिससे उसकी मौत घटना स्थल पर उसकी मौत हो गयी. जब आनंद अंदर आने में देर करने लगा तो पिता बिरसा उरांव बाहर देखने को निकला, तो आनंद आंगन में चापाकल के पास मृत पड़ा हुआ पाया.
तीसरी घटना में वज्रपात की चपेट में आकर चैनपुर पीपल चौक निवासी अबदोन बखला का पुत्र प्रवीण बखला की मौत हो गयी. जबकि अनिल टोप्पो का पुत्र अजय टोप्पो घायल हो गया. जानकारी के अनुसार दोनों बच्चे बारवे हाई स्कूल चैनपुर के छात्र हैं जो फादर जुबली कार्यक्रम में कटकाही गये हुए थे. जहां से वे दोनों वापस आ रहे थे.
तभी बारवे नगर पंचायत के केराबार गांव के पास अचानक पानी बरसने लगा तो वे वहां रुककर बच रहे थे. तभी आसमानी बिजली का कहर इन दोनों बच्चों को अपने चपेट में ले लिया. जिसके बाद ग्रामीणों की मदद से दोनों बच्चों को चैनपुर स्वास्थ्य केन्द्र लाया गया. जहां डॉ सृष्टि किण्डो के द्वारा दोनों बच्चों का तत्काल उपचार किया गया.
जिसमें प्रवीण की स्थिति बहुत ही नाजुक बनी हुई थी. जब तक उसे बेहतर उपचार के लिए गुमला भेजा जाता उससे पहले ही उसने अपना दम तोड दिया. वहीं अजय टोप्पो का उपचार चल रहा है. प्रवीण की मौत से परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है. क्योंकि प्रवीण अपने माता पिता का इकलौता पुत्र था. जिन्हें मौके पर पहुंच बीस सूत्री अध्यक्ष नीरज शर्मा ने प्रवीण के परिजनों को ढाढस दे उनके दर्द को बांटने का प्रयास किया.