विचारधीन कैदी की मौत के विरोध में तीन घंटे एनएच-78 जाम, ग्रामीणों ने कहा- रायडीह थानेदार को हटाओ
दुर्जय पासवान, गुमला रायडीह प्रखंड के पतराटोली निवासी विचाराधीन कैदी विजय साहू की इलाज के क्रम में अस्पताल में मौत के बाद परिजन व पतराटोली गांव के लोग आक्रोशित हो उठे. सोमवार की अपराहन ढाई बजे दुर्गा मंदिर परिसर के समीप एनएच-78 जाम कर दिया. इससे रांची व छत्तीसगढ़ आने-जाने वाली मार्ग में वाहनों की […]
दुर्जय पासवान, गुमला
रायडीह प्रखंड के पतराटोली निवासी विचाराधीन कैदी विजय साहू की इलाज के क्रम में अस्पताल में मौत के बाद परिजन व पतराटोली गांव के लोग आक्रोशित हो उठे. सोमवार की अपराहन ढाई बजे दुर्गा मंदिर परिसर के समीप एनएच-78 जाम कर दिया. इससे रांची व छत्तीसगढ़ आने-जाने वाली मार्ग में वाहनों की लंबी कतार लग गयी.
ग्रामीण पांच सूत्री मांगों को लेकर ढाई बजे से लेकर साढ़े पांच बजे तक सड़क पर बैठे रहे. इस दौरान कई अधिकारी लोगों को समझाने पहुंचे. लेकिन लोग नहीं माने. ग्रामीण रायडीह थानेदार को हटाने की मांग कर रहे थे. ग्रामीणों ने यह भी आरोप लगाया कि पुलिस पदाधिकारियों के इशारे पर कई बड़े लोग जुआ खेलते हैं. लेकिन यहां पुलिस बेकसूर लोगों को जुआ खेलने का आरोप लगाकर जेल भेज रही है.
इधर, लोगों के आक्रोश को देखते हुए इंस्पेक्टर व बीडीओ के लिखित आश्वासन की थानेदार को जांच के बाद हटाया जायेगा. वहीं ग्रामीणों की जो मांग है. उसे हर हाल में पूरा किया जायेगा. आश्वासन के बाद लोगों ने जाम हटाया.
लिखित आश्वासन के बाद हटा जाम
सड़क जाम होने से सड़क के दोनों छोर पर वाहनों की लंबी कतार लग गयी. जाम में परिजन व ग्रामीण थानेदार रविंद्र शर्मा को अविलंब हटाने की मांग कर रहे थे. सड़क जाम की सूचना मिलते ही इंस्पेक्टर रंजीत कुमार, बीडीओ मिथिलेश कुमार सिंह, प्रमुख इस्माइल कुजूर जाम स्थल पहुंचे. जहां उन्होंने परिजन व आम जनता की मांगों को सुना.
परिजन व जनता ने प्रशासन से मांग की कि रायडीह थानेदार रविंद्र शर्मा को अविलंब हटाया जाय, जुआ का आरोप लगाकर और दो आरोपी को जेल भेजा गया है. उनमें समशाद राय व सारिक खान है. उन पर 420 का धारा लगाया गया है. उस धारा को हटाते हुए उनकी रिहाई की जाय. पीड़ित परिवार को 10 लाख मुआवजा, मृतक की विधवा व बेटी शिल्पा कुमारी को सरकारी नौकरी देने की मांग की.
वहीं, एसपी को जाम स्थल बुलाने व एसपी के नेतृत्व में रायडीह में जुआ खेलने का आरोप परिजन व ग्रामीण लगाकर एसपी को सड़क जाम स्थल बुलाने की मांग पर अड़े थे. तीन घंटे की जद्दोजहद के बाद प्रशासन के मौखिक आश्वासन को परिजन व आम जनता नहीं मान रहे थे. तब इंस्पेक्टर व बीडीओ द्वारा संयुक्त रूप से लिखित आश्वासन के बाद परिजनों व आम जनता ने सड़क जाम समाप्त किया. बीडीओ ने मृतक के परिवार को 10 हजार रुपये का सहयोग किया. सुड़ी समाज के जिला अध्यक्ष दिलीपनाथ साहू ने सीएम व डीसी के नाम ज्ञापन सौंपकर परिवार के एक सदस्य को नौकरी सहित विजय साहू की संदेहास्पद स्थिति में मौत की जांच की मांग की.
पैसा नहीं दिया तो जेल भेजा था : परिजन
परिजनों ने कहा कि रायडीह पुलिस ने विजय साहू को 10 अक्तूबर को पकड़ा था. विजय पर जुआ खेलने का आरोप पुलिस ने लगाया था. जबकि विजय जुआ नहीं खेल रहा था. वह अपने काम पर था. तभी पुलिस पहुंची और कुछ लोगों पर जुआ खेलने का आरोप लगाकर पकड़ लिया और जेल भेज दिया. पुलिस द्वारा विजय व अन्य लोगों को पकड़ने के बाद तुरंत में जेल भेजना था. परंतु पुलिस ने 48 घंटे तक सभी को थाने में रखा.
पुलिस सभी से पैसे मांग रही थी. ताकि जुआ खेलने के केस से सभी को बचा सके. जब पैसा नहीं मिला तो जुआ खेलने का आरोप लगाकर सभी को जेल भेज दिया. मृतक के भाई महेश साहू ने कहा कि मेरा भाई बीमार था. इसकी जानकारी जेल प्रशासन ने नहीं दी. 20 अक्टूबर को जब अस्पताल में लाया गया तो बताया गया. जेल प्रशासन ने समय पर इलाज नहीं कराया. जिस कारण विजय की मौत हुई है.