डायन-बिसाही के शक में गुमला में आदिम जनजाति की एक वृद्धा की गयी जान, पड़ोसी ने टांगी से काट कर की हत्या

गुमला के जनावल जंगल में आदिम जनजाति की 60 वर्षीय महिला डायन-बिसाही की भेंट चढ़ गयी. बीमारी से एक ही परिवार के 3 लोगों की मौत से गुस्साये पड़ोसी ने कुल्हाड़ी से काट कर हत्या कर दिया. पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 10, 2021 8:08 PM
an image

Jharkhand Crime News (दुर्जय पासवान, गुमला) : गुमला जिले के चैनपुर थाना स्थित जनावल पंचायत के बीजापाठ गांव में अंधविश्वास के चक्कर में 60 वर्षीय आदिम जनजाति महिला की टांगी से काट कर निर्मम हत्या कर दी गयी. एक परिवार में बीमारी से 3 लोगों की अलग-अलग तारीख को मौत हो गयी. इसके बाद उक्त परिवार अंधविश्वास में आ गया और गांव की वृद्ध महिला की हत्या कर दिया. घटना सोमवार की है.

प्राप्त जानकारी के अनुसार, बीजापाठ गांव के सिमोन असुर की पत्नी जोहानी असुराइन (60 वर्ष) गांव से एक किलोमीटर दूर पीने का पानी लाने के लिए झरना गयी हुई थी. पानी लेकर लौटने के दौरान जनावल जंगल में पहले से घात लगाकर बैठा बिलियम असुर (30 वर्ष) ने उसे अकेला पाकर टांगी से काटकर हत्या कर दी.

परिजनों द्वारा काफी खोजबीन करने पर भी जोहानी असुर का कहीं पता नहीं चला. मंगलवार सुबह उसका पुत्र माइकल असुर जंगल की ओर गया, तो देखा की उसकी मां का शव जंगल में पड़ा हुआ है. अपनी मां का शव देख वह गांव आया और परिजनों व गांव वालों को इसकी जानकारी दी. जिसके बाद ग्रामीणों द्वारा इसकी सूचना चैनपुर पुलिस को दी गयी. सूचना पाकर चैनपुर पुलिस मौके पर पहुंची. घटनास्थल तक पुलिस को पहुंचने के लिए 3 किलोमीटर का सफर पैदल तय करना पड़ा.

Also Read: लोहरदगा के सभी ब्लॉक में डायन प्रथा को रोकने के लिए जनजागरूकता अभियान, निकाली गयी रैली, हुआ पौधरोपण
परिवार के 3 सदस्यों की मौत के बाद अंधविश्वास में आ गया बिलियम

3 किलोमीटर पैदल चलकर चैनपुर पुलिस जनावल जंगल पहुंची. जिसके बाद बीजापाठ गांव पहुंची. बीजापाठ गांव में पुलिस को देख हत्या का आरोपी बिलियम असुर पुलिस के समक्ष अपना गुनाह कबूल करते हुए बताया कि 6 महीने के अंदर मेरे घर के 3 सदस्य की मौत हो गयी है. मैं दिल्ली से दो महीना पूर्व लौटा हूं. जिसके बाद मेरी भी तबीयत खराब रहने लगी. 6 माह पहले मेरे पिता की मौत हो गयी. जिसके कुछ दिन बाद मेरे भाई की भी मौत हो गयी. मेरी 2 माह की भतीजी की भी मौत कुछ दिन पहले हुई थी.

उन्होंने कहा कि मुझे शक था कि जोहनी असुराइन मेरे घर में डायन बिसाही लगाकर मेरे परिवार वालों को खा रही है. जिसके बाद गुस्से में आकर मैं जोहनी असुराइन का टांगी से काटकर हत्या कर दिया. पुलिस आरोपी को गिरफ्तार कर अपने साथ चैनपुर थाना लेकर आयी. साथ में शव को अपने कब्जे में लेकर गुमला सदर अस्पताल पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है.

डायन- बिसाही कुप्रथा पर नहीं लग रही रोक

इस मामले में चैनपुर उपप्रमुख सुशील दीपक मिंज ने कहा कि चैनपुर अनुमंडल में ग्रामीणों के बीच डायन-बिसाही को लेकर अंधविश्वास का दौर अब भी जारी है. विभिन्न माध्यमों से चलाये जा रहे जागरूकता अभियान भी इस कुप्रथा पर पूरी तरह से रोक लगा पाने में सफल नहीं हो पा रहा है. आये दिन चैनपुर अनुमंडल में डायन के आरोप में व्यक्ति विशेष या दंपती की हत्या हो रही है. आरोपी पकड़े भी जा रहे हैं. लेकिन ग्रामीण हत्यारे के पक्ष में ही खड़े दिखायी देते हैं. ग्रामीण क्षेत्र के लोगों को जागरूक होने की आवश्यकता है.

Also Read: डंपिंग यार्ड बन गया है पथ निर्माण विभाग का कुड़ू में बना विश्रामागार, बदहाली पर बहा रहा आंसू

Posted By : Samir Ranjan.

Exit mobile version