पिता की मौत के बाद बेटियों की शिक्षा पर लगा ग्रहण, मदद की लगायी गुहार
प्रतिनिधि, सिसई(गुमला) सिसई प्रखंड के माघी बगीचा निवासी रवि भारती की सड़क दुर्घटना में मौत के बाद उसकी दो बेटियों ने अपने पिता के शव को कंधा दिया और अंतिम संस्कार किया. इधर, रवि भारती की मौत के बाद उसकी दो बेटियों की शिक्षा पर ग्रहण लग गया है. क्योंकि घर में रवि भारती इकलौता कमाने वाले थे. परंतु, उनकी मौत से घर की रोजी-रोटी के अलावा बेटियों की पढ़ाई कैसे होगी. यह चिंता सताने लगी है. बड़ी बेटी रितिका स्वामी भारती रांची के एक हॉस्टल में रह कर इंटर की पढ़ाई करती है. वह उर्सुलाइन कॉन्वेंट बालिका टेन प्लस टू में पढ़ रही है. पढ़ाई में सालाना खर्च 80 से 90 हजार रुपये खर्च आता है. दूसरी बेटी रिधिमा भारती सिसई के प्रयाण पब्लिक स्कूल में आठवीं कक्षा में पढ़ाई करती है. रवि सिसई में इंदिरा आवास योजना से बने खपड़ैल मकान में रह कर अपने परिवार के साथ जीवन-यापन करता था. पिता रवि के जिंदा रहते दोनों बेटियों की अच्छी से पढ़ाई हो रही थी. दोनों बेटियों ने सरकार व प्रशासन से मदद की गुहार लगायी है.
इस प्रकार हादसा हुआ: दो अप्रैल को रवि भारती अपने ससुर के अंतिम संस्कार में भाग लेने कुड़ू गये थे. वहां से अपनी बड़ी बेटी रितिका स्वामी भारती को रांची हॉस्टल छोड़ने चले गये. रांची से लौटने के क्रम में काठीटांड़ के समीप सड़क दुर्घटना में घायल हो गये थे. उनका इलाज रिम्स में चल रहा था, जहां नौ अप्रैल को उनका निधन हो गया. पेशे से रवि भारती पिकअप वाहन चालक थे.
पेंशन व आवास मिलेगा : बीडीओ
परिवार के पास पीला राशन कार्ड है, जिससे उन्हें 35 किलो राशन मिलता है, जो परिवार का कुछ सहारा है. बीडीओ रमेश कुमार यादव ने कहा कि मृत्यु प्रमाण पत्र के आधार पर उनकी विधवा पत्नी को पेंशन व आवास का लाभ दिलाया जायेगा. वहीं बच्चियों की पढ़ाई के लिए जिला को पत्र लिख कर सहयोग मांगा जायेगा.