JharKhand news, Gumla news in hindi, Gumla palkot news गुमला : पत्नी के इलाज के लिए जमीन गिरवी रख कर्ज लिया. पत्नी की जान तो नहीं बची, इधर जमीन भी हाथ से चली गयी. अब न तो खेती के लिए जमीन बची है और न ही आमदनी को कोई स्थायी स्रोत है. सरकारी योजनाओं का लाभ भी नहीं मिल रहा. खाने में माड़-भात के सिवा कोई दूसरा विकल्प नहीं है.
ऐसे में बच्चों को स्कूल भेजने की बात सोचना भी बेमानी है. यह कहानी है पालकोट प्रखंड की उमड़ा पंचायत स्थित गोजा वनटोली गांव निवासी अनिल साहू (35 वर्ष) की.अनिल का पूरा परिवार झोपड़ी में रहता है और खुले में शौच जाता है. अनिल ने बताया कि तीन साल पहले उसकी पत्नी फूलो देवी की बीमारी से मौत हो गयी.
उसके इलाज के लिए अपनी दो एकड़ जमीन 80 हजार रुपये में गिरवी रखी थी. लेकिन, पत्नी की जान नहीं बची. उसके बाद पूरा परिवार टूट सा गया. अनिल ने बताया कि उसके चार बच्चे शिवानी कुमारी (12 वर्ष), सीता कुमारी (10 वर्ष), कुश साहू (छह वर्ष) व लव साहू (छह वर्ष) हैं.
Posted By : Sameer Oraon