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झारखंड पुलिस व नक्सलियों के बीच चले लुकाछिपी के खेल में कौन किस पर पड़ा भारी, कितनी कामयाब रही गुमला पुलिस

Jharkhand News: पुलिस ने भाकपा माओवादी के कोयल शंख जोन के सचिव 15 लाख के इनामी बुद्धेश्वर उरांव को मुठभेड़ में मार गिराया था. माओवादी के एक अन्य नक्सली को भी पुलिस ने मुठभेड़ में मारा है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 30, 2021 3:52 PM

Jharkhand News: नक्सलियों के खिलाफ गुमला जिला की पुलिस को वर्ष 2021 में कई बड़ी सफलता मिली हैं. नक्सलियों पर पुलिस भारी पड़ती रही है. हालांकि नक्सलियों द्वारा पुलिस को कई बार बड़ी क्षति पहुंचाने की कोशिश की गयी, परंतु हर बार पुलिस नक्सलियों के हमले में बचती रही है. पुलिस को नुकसान पहुंचाने के चक्कर में नक्सलियों के निशाने के शिकार आम ग्रामीण होते रहे हैं. पुलिस ने भाकपा माओवादी के कोयल शंख जोन के सचिव 15 लाख के इनामी बुद्धेश्वर उरांव को मुठभेड़ में मार गिराया था. माओवादी के एक अन्य नक्सली को भी पुलिस ने मुठभेड़ में मारा है.

पीएलएफआई के खिलाफ भी पुलिस को कई बड़ी सफलता मिली है. जंगलों में माओवादियों द्वारा बिछा कर रखे गये कई बड़े हथियार पुलिस को मिले हैं. यहां तक कि जंगलों में नक्सलियों द्वारा बिछाये गये दर्जनों आइइडी बम को भी पुलिस निष्क्रिय करने में सफल रही है. वहीं नक्सली हमले में दो पुलिस जवान घायल हुए हैं. ऐसे पूरे साल भर पुलिस व नक्सलियों के बीच लुकाछिपी का खेल भी चला. नक्सली जंगल में छिपते फिरे और पुलिस उन्हें खोजती नजर आयी.

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पुलिस ने दो नक्सलियों को मार गिराया

: 31 मई 2021 को मरवा जंगल में पुलिस व नक्सलियों के बीच मुठभेड़ में एक नक्सली मारा गया था. हथियार भी मिला था. पुलिस ने आधा दर्जन आइइडी बम बरामद कर निष्क्रिय किया था.

: 15 जुलाई 2021 को कोचागानी जंगल में छिपकर बैठे 15 लाख के इनामी बुद्धेश्वर उरांव को कोबरा के जवानों ने मार गिराया था. एके-47, इंसास सहित विस्फोटक सहित कई सामान मिला था.

आइइडी ब्लास्ट में घायल जवान

: 25 फरवरी 2021 को चैनपुर थाना के रोरेद गांव के जंगल में भाकपा माओवादियों ने आइइडी बम ब्लास्ट किया था. जिसमें सीआरपीएफ-218 बटालियन के जवान रॉबिन्स कुमार के दोनों पैर उड़ गये थे. हेलिकॉप्टर से घायल को रांची ले जाया गया था.

: 13 जुलाई 2021 को केरागानी जंगल में आइइडी ब्लास्ट में जवान विश्वजीत कुंभकार घायल हो गया था. उसे हेलीकॉप्टर से रांची ले जाया गया था. जबकि खोजी कुत्ता शहीद हो गया था. यहां पुलिस व नक्सलियों के बीच मुठभेड़ भी हुई थी.

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पुलिस को मिली सफलता

: 04 जनवरी 2021 को कामडारा के रामतोलिया गांव से पीएलएफआई का एरिया कमांडर एक लाख का इनामी ओझा पाहन को पुलिस ने पकड़ा था.

: 08 जनवरी 2021 को बसिया पुलिस ने पीएलएफआइ के सदस्य चिंतामन कुरा निवासी रोहित नायक, नारेकेला गांव निवासी रोहित महतो व विष्णु गोप को पकड़ा था.

: 20 जनवरी 2021 को बिशुनपुर के बैठथ गांव के जंगल में माओवादी द्वारा छिपाकर रखे गये देशी निर्मित रायफल बरामद हुई थी. रायफल बैठथ गांव के जंगल में पेड़ की खोह में था.

: 01 फरवरी को पुलिस ने भाकपा माओवादी के सदस्य अनिल खेरवार को पकड़ा कर जेल भेजा था. लेवी का पैसा भी बरामद हुआ था.

: 05 फरवरी को कामडारा में सक्रिय पीएलएफआई के एरिया कमांडर संजय सुरीन व सदस्य मंगरा टोपनो ने पुलिस दबाव में कोर्ट में सरेंडर किया था.

: 08 फरवरी को कोचागानी जंगल में गुमला पुलिस ने भाकपा माओवादी के स्थायी कैंप को ध्वस्त किया था और बम बरामद की थी.

: 21 फरवरी को बिशुनपुर पुलिस ने टीपीसी के एक उग्रवादी को पकड़ा था. टीपीसी के संगठन विस्तार पर झटका लगा था.

: 24 फरवरी को बसिया पुलिस ने पीएलएफआई के तीन उग्रवादियों को पकड़कर जेल भेजा था. ये क्षेत्र में सक्रिय थे.

: 28 दिसंबर 2021 को बिशुनपुर पुलिस ने टेमरकरचा गांव से भाकपा माओवादी के सदस्य जसीम लोहरा उर्फ जसवीर को देसी कट्टा, दो जिंदा कारतूस एवं नक्सली पोस्टर के साथ गिरफ्तार किया था.

पीएलएफआई को यहां लगा बड़ा झटका

: तीन दिसंबर 2021 को रायडीह पुलिस ने पीएलएफआई के एरिया कमांडर अर्जुन यादव समेत 13 उग्रवादियों को गिरफ्तार किया था. इन उग्रवादियों के पास से हथियार व कई सामान मिला था. संगठन कमजोर पड़ने पर सुप्रीमो दिनेश गोप के कहने पर अर्जुन यादव ने संगठन को पुन: मजबूत करने के लिए 13 युवकों को संगठन में शामिल किया था. परंतु ये लोग किसी बड़ी घटना को अंजाम देते. उससे पहले पकड़े गये थे.

जेजेएमपी का प्लाटून कमांडर मारा गया

: घाघरा प्रखंड क्षेत्र में जेजेएमपी का प्लाटून कमांडर सुकर उरांव को उसके ही साथियों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी. इसके बाद संगठन छोड़कर भागे नक्सलियों ने अपना संगठन जेएसएस बना लिया है.

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पांच ग्रामीण मरे, एक दर्जन घायल हो चुके हैं

: पुलिस को नुकसान पहुंचाने के लिए भाकपा माओवादी ने गुमला, चैनपुर, घाघरा व बिशुनपुर के 50 से अधिक गांव के जंगलों में आइइडी बम बिछाकर रखा था. जिसमें गुमला के पांच ग्रामीण मारे गये. एक दर्जन ग्रामीण घायल हुए थे. जबकि 20 से अधिक पशुओं की मौत हो चुकी है. सभी मौत आइइडी बम की चपेट में आने से हुआ था.

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कुछ महीने से नक्सली हावी

: गुमला में पांच माह पहले तक नक्सली बैकफुट में थे. परंतु गुमला के तत्कालीन एसपी एचपी जनार्दनन के बदली होते ही भाकपा माओवादी पुन: क्षेत्र में सक्रिय हो गये. क्षेत्र में लगातार नक्सलियों की गतिविधि बढ़ गयी. हालांकि पुलिस लगातार नक्सलियों को खोजने में लगी रही. परंतु नक्सली नहीं मिले.

नक्सलियों ने कुरूमगढ़ थाना भवन को उड़ाया

: 26 नवंबर 2021 को भाकपा माओवादी के दस्ते ने कुरूमगढ़ थाना भवन को उड़ा दिया था. भवन का आधा हिस्सा उड़ गया. वहीं पुन: नौ दिसंबर को पूरे भवन को उड़ाने के लिए नक्सली पहुंचे थे तो पुलिस के साथ मुठभेड़ हुई थी.

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रिपोर्ट: दुर्जय पासवान

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