गुमला, दुर्जय पासवान : गुमला पुलिस ने राजस्थान से साइबर अरपाधी रकीब खान (28) को गिरफ्तार कर झारखंड लायी और गुरुवार को पूछताछ के बाद न्यायिक हिरासत में भेज दिया. रकीब सातवीं पास है, लेकिन वह साइबर क्राइम में महारत हासिल है. रकीब ने आर्मी का अफसर बन कर मां शेरावाली इंडेन गैस एजेंसी गुमला के संचालक विशेष आनंद से फोन के माध्यम से डेढ़ लाख रुपये की ठगी की थी. पुलिस को जब रकीब का लोकेशन मिला, तो गुमला पुलिस राजस्थान जाकर स्थानीय पुलिस की मदद से उसे पकड़ा. रकीब को पकड़ने के लिए आठ गाड़ी में पुलिस फोर्स उसके गांव में घुसी थी. क्योंकि, पुलिस को डर था कि कम फोर्स जाने से ग्रामीण रकीब को बचाने के लिए पुलिस पर हमला कर सकते थे. इसलिए पुलिस पूरी तैयारी के साथ गयी और रकीब को गिरफ्तार किया.
एसपी हरविंदर सिंह ने प्रेस काॅन्फ्रेंस कर बताया कि आर्मी का अफसर बन कर राजस्थान के डिंग जिला अंतर्गत धुलवारा निवासी 28 वर्षीय रकीब खान ने गुमला चेटर निवासी गैस एजेंसी के संचालक विशेष कुमार आनंद को ठगी के जाल में फंसा कर 1,47, 300 रुपये की ठगी की थी. पुलिस ने रकीब के पास से एक स्मार्टफोन, आधार कार्ड, पैन कार्ड सहित अन्य समान बरामद किया है. उन्होंने बताया कि चार जनवरी को विशेष आनंद के मोबाइल नंबर पर एक कॉल आया था.
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कॉल करने वाले ने खुद को आर्मी का बंदा बता बोला कि चेटर स्थित सरकारी विद्यालय में आर्मी का कैंप लगा है. इसके लिए 19 किलो वाला 10 पीस सिलिंडर रिफिल चाहिए. आर्मी के मेजर जोरा सिंह पेमेंट के लिए कॉल करेंगे. इसके बाद विशेष आनंद के मोबाइल पर एक दूसरे नंबर से व्हाट्सएप कॉल आया और बोला गया की पेमेंट का तरीका आर्मी में दूसरा होता है. पहले आप कुछ रकम भेंजे, फिर आर्मी के बैंक खाता से उसका दोगुना रकम आपको भेजा जायेगा. इस जाल में फंसा कर विशेष कुमार आनंद से 1,47,300 की ठगी कर ली गयी. इसके बाद विशेष आनंद द्वारा अज्ञात के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करायी गयी थी. पुलिस ने केस दर्ज कर एक एसआइटी टीम का गठन किया. तकनीकी शाखा, साइबर सेल के सहयोग से राजस्थान से अभियुक्त को गिरफ्तार किया गया.
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छापेमारी दल में एसआइ दशरथ कुमार दास, एसआइ कुमार सरंजय, आरक्षी तुलसी प्रसाद साहू मौजूद थे. इधर, एजेंसी के संचालक विशेष आनंद ने बताया कि आर्मी ऑफिसर के नाम पर ठग ने फोन किया, तो मैंने एक रुपये भेजा था. तत्काल मेरे अकाउंट में स्वतः दो रुपये आ गया. फिर मैंने उसके अकाउंट में 19000 रुपया भेजा, जो ट्रांजेक्शन फेल बताया. मैं चार बार उसके अकाउंट में पैसा ट्रांसफर किया, तब अचानक सभी ट्रांजेक्शन सफल बताया और मैं ठगी का शिकार हो गया.