गुमला शहर के वार्ड नंबर सात की आबादी तेजी से बढ़ी है. परंतु यहां जो सरकारी सुविधा मिलनी चाहिए. वह नहीं मिल रही है. जबकि यहां के लोग हर महीने व साल में वाटर टैक्स, होल्डिंग टैक्स, बिजली टैक्स, सफाई टैक्स सहित कई टैक्स दे रहे हैं. इसके बाद भी यह वार्ड बदहाल है. यहां तक कि वार्ड सात की पार्षद को जनता से कोई मतलब नहीं है. वार्ड के अधिकांश लोग पार्षद से नाराज हैं. वार्ड सात के अधिकांश हिस्सों में गंदगी है.
कई स्थानों के नाली में पानी व कचरे का जमाव होने के कारण नाली भर गया है. नालियों में घास व पौधे उग आये हैं जो दर्शाता है कि विगत कई माह से नाली की सफाई नहीं की गयी है. इसके अलावा कई ऐसे स्थान है. जहां नाली नहीं होने के कारण पानी सड़क व मैदान में बह रहा है. जिस कारण संक्रमण बढ़ने का खतरा बढ़ रहा है. मच्छरों का प्रकोप अधिक है.
शांति नगर निवासी मीना देवी का अब तक पीएम आवास नहीं बना है. वहीं शौचालय का आधा किस्त मिलने के कारण शौचालय अधूरा पड़ा है. मीना देवी ने बताया कि पूर्व में नगर परिषद में पीएम आवास के लिये आवेदन दिये थे. परंतु पीएम आवास का लाभ नहीं मिल पाया. शौचालय का एक किस्त छह हजार रुपये मिला है. वहीं दो युवकों द्वारा मुझे दूसरे के बने शौचालय में खड़ा करवा कर फोटो खींच लिया गया और पांच सौ रुपये भी ले गया है. जिसके बाद भी अब तक मेरा शौचालय नहीं बन पाया. टूटे हुआ घर में रहने को विवश हूं.
सुनील कुमार ने कहा कि हमारे मुहल्ले में सफाई नहीं होती है. नाली नहीं होने के कारण नाली का पानी सीधा सड़क में बह रहा है. जिस कारण काफी परेशानी हो रही है.
अनिता मंजू खलखो ने कहा कि बिजली का खंभा नहीं होने के कारण बिजली दूसरे पोल से लिये हैं. घर के समीप पूर्व में पोल नहीं गाड़ा गया. जिस कारण इस इलाके में पांच लोगों के घर में बिजली कनेक्शन कि समस्या हो रही है.
घाटो बगीचा निवासी गोलू कुमार ने कहा कि इस मुहल्ले में छह माह से अधिक समय से नाली की सफाई नहीं हुई है. जिस कारण नाली पूरी तरह से भर गया है. जिस कारण मच्छरों का प्रकोप अधिक रहता है.