कौशलेंद्र शर्मा, चैनपुर: प्रखंड में जमीन दलाल सक्रिय हैं. रौतिया जाति के एक दर्जन लोगों की जमीन को दलालों ने बेच दिया है. साथ ही गलत म्यूटेशन पर कुछ जमीन पर कब्जा भी कर लिया है. इसमें चैनपुर अंचल की भूमिका संदेह पर है. क्योंकि दलालों ने अंचल से मिल कर यह कारनामा किया है.
रौतिया जाति के लोग अधिक पढ़े- लिखे नहीं है. कुछ लोगों को शराब पिला कर कागजात पर हस्ताक्षर करा लिया है. लेकिन चैनपुर में हाल में हुई दो घटनाओं के बाद रौतिया जाति के लोग अपनी जमीन की रक्षा के लिए आगे आये हैं. पहली घटना में जमीन के कारण एक व्यक्ति की हत्या कर दी गयी थी, जबकि दूसरी घटना में जमीन पर दूसरे व्यक्ति का कब्जा होने के बाद महीनाथ रौतिया की सदमे में मौत हो गयी.
इन दो घटनाओं के बाद रौतिया जाति के लोग अपनी जमीन को दलालों से बचने के लिए प्रशासन के खिलाफ मोर्चा खोल दिये हैं. प्राप्त आंकड़ा के अनुसार कष्टू रौतिया की छह एकड़, स्व महीनाथ रौतिया का छह एकड़, शंकर रौतिया का 16 एकड़ जमीन हड़प ली गयी. वहीं प्रसाद रौतिया, मनोज रौतिया, दिनेश कुमार रौतिया, महेंद्र भगत, देवनाथ रौतिया, दीपक रौतिया, टहनू रौतिया, बिगन रौतिया, बिकुल रौतिया, हादू रौतिया का एक से दो एकड़ जमीन को दलालों ने बेच दिया है.
रौतिया समाज के लोगों ने संयुक्त रूप से सीओ गौतम कुमार को ज्ञापन सौंप चैनपुर व छतरपुर में सक्रिय भू-माफियाओं पर प्राथमिकी दर्ज कराने की मांग की. ज्ञापन में कहा गया है कि चैनपुर व छतरपुर में भू-माफिया बहुत सक्रिय हो गये हैं. आये दिन रौतिया समाज के लोगों को बहला-फुसला कर जमीन ले ली जाती है और रहने के लिए घर तक नहीं छोड़ा जाता है. रौतिया समाज के लोगों की जमीन को बहला-फुसला कर हड़प ले रहे हैं. ऐसे लोगों पर प्राथमिकी दर्ज कर कार्रवाई की जानी चाहिए.
पलामू से आये एक व्यक्ति पर जमीन बेचने का आरोप लगाया गया है. यह व्यक्ति शुरू से गलत धंधों के कारण सुर्खियों में रहा है. रौतिया जाति के उग्र रूप व प्रशासन के कड़े तेवर के बाद उक्त व्यक्ति चैनपुर से भाग गया है. उसके घर व निजी अस्पताल पर ताला लटक रहा है. समाज के वरिष्ठ लोगों ने कहा है कि पलामू से आकर झोलाछाप डॉक्टर भोले-भाले रौतिया समाज के लोगों की जमीन को दलाली कर हड़पने का काम कर रहा है.