डॉक्टर पीने को कर रहे मना, लेकिन क्या करें

हजारीबाग : हजारीबाग शहरी क्षेत्र में पिछले एक माह से गंदे पानी की सप्लाइ जारी है. छड़वा डैम का जल स्तर 14 फीट पहुंच गया है. कीचड़ युक्त पानी डैम से ट्रीटमेंट प्लांट तक पहुंच रहा है. वहीं ट्रीटमेंट प्लांट में पानी सफाई करने का टेंडर प्राइवेट कंपनी को दिया गया है, जिसका एकरारनामा अवधि […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 24, 2019 12:41 AM

हजारीबाग : हजारीबाग शहरी क्षेत्र में पिछले एक माह से गंदे पानी की सप्लाइ जारी है. छड़वा डैम का जल स्तर 14 फीट पहुंच गया है. कीचड़ युक्त पानी डैम से ट्रीटमेंट प्लांट तक पहुंच रहा है. वहीं ट्रीटमेंट प्लांट में पानी सफाई करने का टेंडर प्राइवेट कंपनी को दिया गया है, जिसका एकरारनामा अवधि भी समाप्त हो गयी है.

इससे कारण पानी सफाई का कार्य सही तरीके से नहीं हो रहा है. छड़वा डैम का जलस्तर घटने से पानी सप्लाई दो पाली की जगह एक पाली कर दी गयी है. प्रतिदिन 30 लाख गैलन पानी सप्लाइ कर शहर के लोगों तक नलों से पानी पहुंच रहा है. लेकिन गंदे पानी मिलने से लोग परेशान है.

जार का पानी खरीदने को लोग विवश: छड़वा डैम से गंदा पानी सप्लाइ होने से शहर के लोगों के पास वैकल्पिक व्यवस्था नहीं है. समर्थ लोग जार का पानी खरीद कर पीने को विवश हैं. वहीं अधिकांश आबादी गंदे पानी को किसी तरह साफ कर पी रहे हैं.
शहर में बढ़ी टायफाइड मरीजों की संख्या: शहर के सदर अस्पताल, निजी अस्पतालों व पैथोलॉजी में जांच रिपोर्ट के आधार पर पिछले एक माह में टायफाइड मरीजों रोगियों की संख्या बढ़ी है. गंदा पानी पीने से डॉक्टर मना कर रहे हैं. लेकिन लोगों के पास कोई दूसरा विकल्प नहीं है.
कार्यपालक अभियंता ने कहा: कार्यपालक अभियंता मारकंडे कुमार ने कहा कि छड़वा में जल स्तर कम होने से पानी की समस्या बढ़ी है. वैकल्पिक व्यवस्था के लिए सरकार को पत्र लिखा जायेगा.

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