डीयू मिशन ट्रस्ट की जमीन की जांच करेगा सीआइडी
हजारीबाग : डीयू मिशन ट्रस्ट के हर्नगंज स्थित 41 एकड़ जमीन विवाद की जांच सीआइडी करेगा. इस जमीन की कीमत लगभग 500 करोड़ रुपया है. जमीन से संबंधित मामला मुफस्सिल थाना कांड संख्या (1076-15) में दर्ज है. जिला पुलिस से यह मामला सीआइडी को स्थानांतरित कर दिया गया. जमीन विवाद के मामले की पर्यवेक्षण करने […]
हजारीबाग : डीयू मिशन ट्रस्ट के हर्नगंज स्थित 41 एकड़ जमीन विवाद की जांच सीआइडी करेगा. इस जमीन की कीमत लगभग 500 करोड़ रुपया है. जमीन से संबंधित मामला मुफस्सिल थाना कांड संख्या (1076-15) में दर्ज है. जिला पुलिस से यह मामला सीआइडी को स्थानांतरित कर दिया गया. जमीन विवाद के मामले की पर्यवेक्षण करने मंगलवार को सीआइडी एसपी सुनील कुमार भाष्कर हजारीबाग पहुंचे. उन्होंने वादी-प्रतिवादी से पूछताछ की. एसपी ने दोनों पक्षों को जमीन से संबंधित कागजात प्रस्तुत करने को कहा है. मामले के अनुसंधानकर्ता परीखन दास हैं.
क्या है मामला: डीयू मिशन ट्रस्ट के नाम 41 एकड़ 37 डिसमिल जमीन हर्नगंज में है. ट्रस्ट के अध्यक्ष ब्रेन हार्वे हैं, जो विदेश चले गये. जमीन के केयरटेकर बीबी वासकी हैं. वर्तमान में वह रांची में सीएनडीटीए अध्यक्ष हैं. जमीन का खाता नंबर 18 एंव प्लॉट नंबर 33 है.
जमीन का पावर अॉफ अटर्नी बीबी वास्की को दिया गया गया है. बीबी वास्की ने जमीन को सिद्धि विनायक डेवलपर्स को बेच दिया. मामले को लेकर राजेश नंदी ने मुफस्सिल थाना में प्राथमिकी दर्ज करायी. इसमें विलयो वास्की, अमित होरो, सैमअल नाग एवं सावन ठाकुर पर जमीन की खरीद-बिक्री गलत तरीके से करने का आरोप लगाया है. प्राथमिकी के अनुसार डीयू मिशन के इस जमीन पर अस्पताल, स्कूल व सामाजिक कार्य के लिए इस्तेमाल किया जाना है. प्राथमिकी में कहा गया है कि इस जमीन का मूल्य करीब 500 करोड़ रुपया है.
न्यायालय से आदेश प्राप्त है: प्रतिवादी पक्ष के अमित होरो ने कहा कि वीवी वासकी सीएनडीटीए के अध्यक्ष हैं. इन्हें ट्रस्ट की जमीन बेचने का अधिकार है. सीएनडीटीए एक रजिस्ट्रर्ड कंपनी है. कंपनी राइट के तहत जमीन बेची गयी है. अमित होरो ने यह भी कहा कि यह अधिकार उच्च न्यायालय से भी प्राप्त है.