नये कानून में दंड की नहीं न्याय की बात : जिला जज
समाहरणालय में आपराधिक कानून 2023 में बदलाव और हिट एंड रन मामले में पुलिस की भूमिका विषय पर सेमिनार हुआ.
हिट एंड रन मामले में पुलिस की भूमिका विषय पर सेमिनार
प्रतिनिधि, हजारीबागविधिक सेवा प्राधिकार और जिला प्रशासन की ओर से रविवार को समाहरणालय में आपराधिक कानून 2023 में बदलाव और हिट एंड रन मामले में पुलिस की भूमिका विषय पर सेमिनार हुआ. उदघाटन प्रधान जिला सत्र न्यायाधीश सत्यप्रकाश सिन्हा, डीसी नैंसी सहाय, एसपी अरविंद कुमार सिंह समेत कई न्यायिक पदाधिकारी ने किया. जिला सत्र न्यायाधीश ने कहा कि नये कानून को अधिवक्ताओं के साथ-साथ अधिकारियों व आम लोगों को भी जानने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि वर्तमान में सभी लोग सीखने की प्रक्रिया में हैं और नयी बातों को जानना सभी के लिए लाभप्रद होगा. उन्होंने कहा कि इस परिचर्चा से आम लोगों को बहुत कुछ जानने का मौका मिलेगा. कहा कि नये कानून में दंड की नहीं न्याय की बात कही गयी है. डीसी नैंसी सहाय ने कहा कि सभी लोगों को कानून की जानकारी और उनकी समझ रखनी चाहिए. इससे सभी वर्गों को मिलकर राज्य और देश को आगे बढ़ाने का अवसर मिलेगा. एडीजे एसपी सिंह ने हीट एंड रन मामले में पुलिस को उनके कर्तव्यों की जानकारी दी. कहा कि पीड़ित को आर्थिक और कानूनी मदद पहुंचाने के बारे में बताया. सेमिनार को एडीजे एसपी सिंह, कुटुंभ न्यायाधीश संजीव दास, अधिवक्ता सत्येंद्र कुमार ओझा, नवनीशचंद्र प्रसाद, शंकर बनर्जी ने भी अपने विचार रखे. अधिवक्ताओं ने भारतीय साक्ष्य अधिनियम के तहत गवाहों के बयान, घटना स्थल की फोटोग्राफी एवं इलेक्ट्रॉनिक साक्ष्य को मिली मान्यता पर प्रकाश डाला. नये कानून के तहत एफआइआर, रिमांड, जमानत और जब्ती प्रक्रिया को विस्तार से बताया.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है