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कोरोना की तीसरी लहर से हजारीबाग के कोचिंग, लॉज, पर्यटन स्थल पर सन्नाटा, 20 हजार बच्चे प्रभावित

हजारीबाग जिले में कोरोना के बढ़ते संक्रमण से शिक्षा व्यवसाय से जुड़े लोगों को अधिक नुकसान हो रहा है. शहर में लगभग 100 से अधिक छोटे-बड़े कोचिंग, ट्यूशन सेंटर, प्रशिक्षण संस्थान हैं.

हजारीबाग : हजारीबाग जिले में कोरोना के बढ़ते संक्रमण से शिक्षा व्यवसाय से जुड़े लोगों को अधिक नुकसान हो रहा है. शहर में लगभग 100 से अधिक छोटे-बड़े कोचिंग, ट्यूशन सेंटर, प्रशिक्षण संस्थान हैं. इन संस्थानों में हजारीबाग के अलावा चतरा, कोडरमा, गिरिडीह, बोकारो और धनबाद के विद्यार्थी पढ़ाई करते हैं.

दो जनवरी 2022 को राज्य सरकार के आंशिक लॉकडाउन की घोषणा के बाद सभी संस्थान बंद हो गया है. जिला प्रशासन ने सदर सीओ व संबंधित थाना प्रभारी को निर्देश दिया था कि लॉकडाउन का सख्ती से पालन कराना है. संस्थानो में पढ़ रहे 20 हजार से अधिक विद्यार्थी प्रभावित हैं.

लॉज हुए खाली:

हजारीबाग कोचिंग संस्थानों में पढ़ रहे अधिकतर विद्यार्थी पड़ोस के जिले के है. उन्हें रहने के लिए मटवारी, कोर्रा, बाबूगांव, लाखे, आनंदपुरी, साकेतपुरी, सुरेश कालोनी, हुरहुरू, शांति आश्रम, सिंदुर, दीपूगढ़ा सहित अन्य मुहल्ले में काफी संख्या में लॉज है. लॉकडाउन की घोषणा के बाद छात्रों व उनके परिजनों में भय है.

सरकार द्वारा कोचिंग संस्थानों का बंद करने की घोषणा के बाद सभी लॉज खालीकर चले गये. जिससे लॉज मालिकों को काफी नुकसान हो रहा है. कोर्रा में रहनेवाले छात्र संजीव ने बताया कि कोचिंग संस्थान बंद है. कॉलेज में पढ़ाई नहीं हो रही है. जिले में लगातार कोरोना संक्रमितों की संख्या बढ़ रही है. इससे बेहतर है कि हमलोग अपने गांव लौट जायें.

व्यवसायियों पर प्रतिकूल असर :

आंशिक लॉकडाउन होने के बाद शहर व आसपास के व्यवसायियों पर प्रतिकूल असर पड़ा है. छात्रों के चले जाने के बाद उनके धंधे में मंदी आयी है. अधिकतर दुकानों पर सन्नाटा है. मेस, ठेला, खोमचा, स्टेशनरी के दुकान को काफी प्रभाव पड़ा है. मटवारी में गुपचुप के दुकान लगानेवाले अखिलेश ने बताया कि बिहार से आकर पिछले कई सालों से ठेला लगा रहा हूं. कोचिंग संस्थान बंद होने से विद्यार्थी चले गये हैं, जिससे मेरा धंधा काफी कम हो गया है.

पर्यटन स्थलों पर सन्नाटा :

लॉकडाउन घोषणा के बाद सभी पर्यटन स्थल, पार्क व अन्य स्थानों में विरानी छायी हुई है. जनवरी माह में हजारीबाग के पर्यटकों का आना-जाना लगा रहता था. शहर की प्रकृति सुंदरता को देखने के लिये दूसरे जिले के अलावा अन्य राज्य से भी पर्यटक आते थे.

हजारीबाग के कनहरी हिल, नेशनल पार्क, स्वर्ण जयंती पार्क, निर्मल महतो पार्क, जबरा पार्क, सारले पार्क, डेमोटांड़ एग्रो पार्क, बड़कागांव स्थित बरसोपानी, कोनार डैम सहित कई पर्यटक स्थलों में सकून का समय गुजारते थे. लेकिन उक्त सभी स्थल वीरान हो गया है. सारले पार्क के संचालक अनीस सिंह ने बताया कि इस तरह के लॉकडाउन होने से हमारे व्यवसाय पर असर पड़ा है. अब यहां पर कोई भी पर्यटक नहीं आ रहे हैं.

आलाधिकारियों के आवास में हुई कोरोना जांच :

डीआइजी, डीसी, एसपी समेत सभी आलाधिकारियों के आवास में कोरोना जांच की गयी. आवास में कार्यरत कर्मी व अन्य सदस्यों का जांच की गयी. इसके अलावा लोचन पथ, अर्जुन कंपलेक्स, ओकनी साइंसिटी अपार्टमेंट में कोरोना जांच की गयी.

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