हजारीबाग में अपराधियों ने ट्रांसपोर्टिंग कंपनी के पेलोडर ऑपरेटर की पिटाई की

शुक्रवार देर रात मेसर्स जय अंबे रोडलाइन प्राइवेट लिमिटेड के पेलोडर ऑपरेटर सुनील मुंडा कार्य कर रहा था. इसी दौरान, अपराधकर्मी वहां पर पहुंचे. अपराधियों की संख्या छह बतायी जाती है.

By Prabhat Khabar News Desk | December 2, 2023 11:13 PM

गिद्दी (हजारीबाग) : गिद्दी की ट्रांसपोर्टिंग कंपनी में शुक्रवार की रात अपराधियों ने पेलोडर ऑपरेटर की पिटाई कर दी. अपराधियों ने सीसीएल सुरक्षाकर्मी व पेलोडर ऑपरेटर से मोबाइल ले लिया और पेलोडर मशीन की चाबी ले ली. अपराधियों की धमकी से यहां लगभग 11-12 घंटे तक कोयला ढुलाई बंद रही. हालांकि, शनिवार दोपहर में कोयला ढुलाई शुरू कर दी गयी. ट्रांसपोर्टिंग कंपनी के कर्मियों में दहशत है. इस संबंध में गिद्दी कोलियरी प्रबंधन ने गिद्दी पुलिस को लिखित सूचना दी है. जानकारी के अनुसार, गिद्दी मोबाइल क्रशर से सौंदा बी रेलवे साइडिंग तक कोयला ढुलाई की जाती है.

यहां पर शुक्रवार देर रात मेसर्स जय अंबे रोडलाइन प्राइवेट लिमिटेड के पेलोडर ऑपरेटर सुनील मुंडा कार्य कर रहा था. इसी दौरान, अपराधकर्मी वहां पर पहुंचे. अपराधियों की संख्या छह बतायी जाती है. अपराधियों ने पेलोडर ऑपरेटर सुनील मुंडा की पिटाई कर दी. उसका मोबाइल छीन लिया. पेलोडर मशीन की चाबी भी ले ली. ट्रांसपोर्टिंग कंपनी के कुछ लोगों को अपराधी खोज रहे थे. अपराधियों ने चेकपोस्ट में डयूटी पर तैनात सीसीएल सुरक्षाकर्मी अजय साव से मोबाइल छीन लिया. हालांकि, बाद में उसे दे दिया. अपराधकर्मियों ने 10-15 मिनट तक वहां पर उत्पात मचाया. इसके बाद भाग निकले. सीसीटीवी कैमरा को खंगाला जा रहा है. अपराधियों की तस्वीर कैद होने का अनुमान लगाया जा रहा है.

बताया जाता है कि सभी अपराधी अपना चेहरा कपड़ा से बांधे हुए थे. ट्रांसपोर्टिंग कंपनी के कर्मियों ने बताया कि गिद्दी से सौंदा बी रेलवे साइडिंग तक कोयला की ढुलाई की जाती है. सीसीएल कंपनी ने छत्तीसगढ़ के मेसर्स जय अंबे रोडलाइन प्राइवेट लिमिटेड को कोयला ढुलाई का काम दिया है. यह कंपनी तीन वर्षों के लिए वर्ष 2021 से कोयला ढुलाई का कार्य कर रही है. सौंदा बी रेलवे साइडिंग से रेल के माध्यम से पावर प्लांटों में कोयला भेजा जाता है. अपराधियों ने यहां तीसरी बार धावा बोला है. इसके पहले अपराधियों ने 12 व 13 नवंबर को धावा बोलकर धमकी दी थी. अपराधियों की लगातार धमक से ट्रांसपोर्टिंग कंपनी के कर्मियों में दहशत है. इससे ट्रांसपोर्टिंग व सीसीएल कंपनी की परेशानी बढ़ गयी है.

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