ग्रामीणों के विरोध के बाद बीएसएफ का मोर्टार फायरिंग बंद
बीएसएफ जुलजुल फायरिंग रेंज में ग्रामीणों के विरोध के बाद मंगलवार को मोर्टार फायरिंग नहीं हुई.
बीएसएफ और ग्रामीणों की हुई बैठक में नहीं निकला नतीजा
हजारीबाग.
बीएसएफ जुलजुल फायरिंग रेंज में ग्रामीणों के विरोध के बाद मंगलवार को मोर्टार फायरिंग नहीं हुई. ग्रामीणों का कहना था कि बीएसएफ और ग्रामीणों के बीच किये गये एकरारनामा का मियाद पूरी हो गयी है. नये एकरारनामा अभी बीएसएफ के साथ नहीं हुई है. इसी बात को लेकर ग्रामीणों ने विरोध किया. मोर्टार फायरिंग को चालू कराने के लिए बीएसएफ और ग्रामीणों के बीच मंगलवार को बैठक की गयी. बैठक में बीएसएफ की ओर से कई वरीय अधिकारी शामिल हुए. ग्रामीणों और बीएसएफ की बैठक बिना निर्णय के समाप्ता हो गया. बीएसएफ के अधिकारियों ने बताया कि इस मामले को लेकर हजारीबाग उपायुक्त से हस्तक्षेप करने की मांग की है. 18 जुलाई को हजारीबाग उपायुक्त के साथ बीएसएफ की बैठक होगी. जिसमें इस मुद्दे को रखा जायेगा.मोर्टार फायरिंग से किसानों का नुकसान :
सखिया पंचायत के मुखिया इम्तियाज आलम ने कहा कि पिछले दिनों लक्ष्य से भटके मोटार एक खेत में गिर गया था. इससे किसानों को काफी नुकसान हुआ था. उसने बताया कि पिछले साल भी बीएसएफ के फायरिंग के दौरान किसानों को काफी नुकसान उठाना पड़ा था. आज तक बीएसएफ इन नुकसान का मुआवजा नहीं दिया है. ग्रामीणों ने बताया कि फायरिंग के दौरान लोगों का आवागमन इस क्षेत्र का बंद हो जाता है. पहले बीएसएफ धनरोपणी और धनकटनी के समय फायरिंग को बंद रखता था. लेकिन इस वर्ष लगातार फायरिंग हो रही है. बैठक में सुरेश यादव, गोपाल यादव, विजय यादव, गणेश साव, संजू देंता, तन्नु कुमार, सुरेंद्र यादव समेत काफी लोग शामिल थे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है