टायो कंपनी बंद होने के विरोध में आंदोलन कर रहे कर्मचारियों ने मजदूरों से की अपील कहा, हमारा साथ दें
जमशेदपुर : टायो को बंद किये जाने के विरोध में आंदोलन कर रहे कर्मचारियों पर शुक्रवार रात लाठी चार्ज कर दिया गया. आंदोलन कर रहे लोगों के अनुसार इसमें 30 से 40 लोग घायल हुए हैं. घायलों में महिलाएं और बच्चे भी शामिल है. घायलों का ईलाज गमहरिया के सरकारी अस्पताल में चल रहा है. […]
जमशेदपुर : टायो को बंद किये जाने के विरोध में आंदोलन कर रहे कर्मचारियों पर शुक्रवार रात लाठी चार्ज कर दिया गया. आंदोलन कर रहे लोगों के अनुसार इसमें 30 से 40 लोग घायल हुए हैं. घायलों में महिलाएं और बच्चे भी शामिल है. घायलों का ईलाज गमहरिया के सरकारी अस्पताल में चल रहा है.
लाठीचार्ज में झारखंड समान अधिकार मंच के संरक्षक योगेन्द्र शर्मा ऊर्फ मुन्ना के सिर पर भी चोट आयी है उनका ईलाज एम.जी.एम अस्पताल में चल रहा है. उन्होंने इस पूरी घटना को गलत बताते हुए कहा, कंपनी प्रबंधक और जिला प्रशासन के द्वारा जबरन और कानून के विरोध कार्य किया गया है. मैं सभी मजदूरों से अपील करता हूं कि इस आंदोलन में हमारे साथ आयें.
सरायकेला के एसडीओ शुक्रवार की रात 10.30 बजे टायो गेट पहुंचे. उससे पहले भारी संख्या में पुलिस बल तैनात कर दिया गया था. एसडीओ ने पहले लाउडस्पीकर से गेट जाम हटाने का आदेश दिया. आंदोलनकारियों के नहीं हटने पर थोड़ी ही देर में पुलिस ने पानी का फव्वारा छोड़ना शुरू कर दिया.
इसके बावजूद धरने पर बैठे कर्मचारी और उनके परिजन हटने को तैयार नहीं थे. पुलिस ने पहले धरने पर मौजूद महिलाओं और बच्चों को घेरे में ले लिया और फिर 15 मिनट के भीतर ही कर्मचारियों पर लाठी चार्ज कर दिया. लाठीचार्ज के दौरान कई लोगों के हाथ-पैर में गंभीर चोटें आयीं, जबकि कई कर्मचारियों के सिर फट गये. महिलाओं पर भी पुरुष पुलिसकर्मियों ने ही लाठियां बरसा दीं. घायलों को इलाज के लिए एमजीएम व टीएमएच में दाखिल कराया गया है.
टायो संघर्ष समिति के एक कार्यकर्ता को गंभीर रूप से घायल होने के बाद टीएमएच के आइसीयू में भर्ती किया गया है. वहीं तरुण कुमार महतो के सिर में गंभीर चोट लगी है. उन्हें भी टीएमएच में भर्ती कराया गया है. दूसरी ओर, घटना के बाद से टायो गेट पर पुलिस ने मोर्चा संभाल लिया है और किसी को वहां जाने नहीं दिया जा रहा है. लाठीचार्ज के बाद वहां से किसी तरह भागे टायो कर्मचारी कॉलोनी परिसर में जमा हुए, लेकिन पुलिस ने उन्हें वहां मजमा लगाने से मना किया. घायलों को अस्पताल भेजे जाने के लिए कोई इंतजाम नहीं किया.