जमशेदपुर में पुलिस पदाधिकारी के बेटे ने किया छात्रा का अपहरण, विरोध करने पर की मारपीट
जमशेदपुर : बागबेड़ा थाना में रेलवे ट्रैफिक कॉलोनी के समीप रहने वाले 12 वर्ष की नाबालिग का अपहरण कर लिया गया. विरोध करने पर नाबालिग के पिता के साथ मारपीट की गयी. घायल नाबालिग के पिता का इलाज एमजीएम अस्पताल में चल रहा है. बागबेड़ा थाना में नाबालिग के पिता के बयान पर रेलवे ट्रैफिक […]
जमशेदपुर : बागबेड़ा थाना में रेलवे ट्रैफिक कॉलोनी के समीप रहने वाले 12 वर्ष की नाबालिग का अपहरण कर लिया गया. विरोध करने पर नाबालिग के पिता के साथ मारपीट की गयी. घायल नाबालिग के पिता का इलाज एमजीएम अस्पताल में चल रहा है. बागबेड़ा थाना में नाबालिग के पिता के बयान पर रेलवे ट्रैफिक कॉलोनी के बाबू पासवान, उनके बेटा सत्येंद्र पासवान समेत अन्य के खिलाफ नाबालिग का अपहरण, दुष्कर्म करने और मारपीट करने का आरोप लगाते हुए मामला दर्ज किया गया है.
बाबू पासवान सरायकेला में पुलिस विभाग में कार्यरत है. दर्ज मामले के अनुसार नाबालिग बर्मामाइंस केपीएस स्कूल में कक्षा छठवीं की छात्रा है. स्कूल आने-जाने के क्रम में अक्सर सत्येंद्र पासवान छेड़खानी करता था. 24 सितंबर को नाबालिग को स्कूल लेने उसके पिता जा रहे थे. रेलवे पुल पर उन्होंने देखा कि उनकी बेटी को सत्येंद्र एक अन्य साथी की मदद से बाइक पर बैठाकर ले जा रहा था. उन्होंने पीछा करने का प्रयास किया, लेकिन वह भाग गया. उन्होंने घटना की जानकारी सत्येंद्र के घर जाकर दी.
दो घंटे के बाद स्कूल से नाबालिग के पिता को फोन आया कि वह स्कूल में आकर अपनी बेटी को ले जाये. वह स्कूल गये और बेटी को घर ले आये. उसी दिन रात साढ़े आठ बजे नाबालिग के पिता के साथ उक्त सभी ने दुकान में आकर मारपीट की. बीच बचाव करने उनकी पत्नी व परिवार के अन्य लोग आये तो उन्हें भी पीटा.
पिस्टल दिखा ले जा रहे थे नाबालिग को
पिस्टल दिखा कर नाबालिग को ले जाने लगे. किसी तरह से नाबालिग को बचाया. शोर मचाने पर लोग जुटने पर सभी भागे. इसके बाद जानकारी पुलिस को देते हुए मामला दर्ज कराया. इधर, पुलिस मंगलवार को पुलिस ने नाबालिग का एमजीएम में मेडिकल कराया. पुलिस सभी बिंदू पर जांच कर रही है.
घर में घुसकर मारपीट की और चेन छीनी
बागबेड़ा थाना में रेलवे ट्रैफिक कॉलोनी के बाबू पासवान के बयान पर प्रदीप सोना समेत आठ-दस युवकों के खिलाफ मारपीट व छिनतई का आरोप लगाते हुए मामला दर्ज किया गया है. दर्ज मामले के अनुसार 24 सितंबर को दिन में बाबू पासवान का बेटा सत्येंद्र साकची से घर लौट रहा था. बर्मामाइंस केपीएस स्कूल के पास पड़ोस में रहने वाली युवती मिली. उसने स्कूल से घर छोड़ने का दबाव बनाया. इसपर सत्येंद्र युवती को बाइक पर बैठाकर घर ला रहा था. रेलवे पुल के पास युवती के पिता ने देख लिया. बाइक से खदेड़ा-खदेड़ी में सभी गिर गये और चोट लगी. बाद में वापस बेटी को स्कूल छोड़ दिया गया. उसी दिन रात में हथियार से लैश होकर उक्त सभी लोग घर में घुस गये और मारपीट की. बीच बचाव में बेटा सत्येंद्र और पत्नी आयी तो दोनों को पीटा. बेटे का मोबाइल फोन और पत्नी के गले से सोने की चेन छीन ली.