जमशेदपुर : सुगंधी देवी ने एसएसपी कक्ष में बताया कि भगवान सूर्य ने पुलिस के दोनों जवानों को रक्षक बना कर नदी में भेजा था. अाज मैं आपके सामने बैठी हूं तो दोनों जवानों के कारण. दोनों जवान सूर्य भगवान की घोड़े की तरह है जिन्होंने विपत्ति में मेरी जान बचायी. नदी की तेज लहर में बहने के दौरान केवल वह सूर्य देव को याद कर रही थी,
लेकिन कुछ दूर तक बहने के बाद वह उम्मीद छोड़ चुकी थी. बावजूद मन में बार-बार सूर्य भगवान को याद कर रही थी. अचानक दोनों जवानों ने उन्हें दोनों ओर से पकड़ लिया और नदी के बाहर निकाल कर शिव घाट के किनारे ले आये. मेरी साड़ी पूरी खुल चुकी थी, दोनों जवानों ने मुझे साड़ी पहनाया. बेटे की तरह दोनों ने मेरी सेवा की. उसके बाद परिवार के लोगों को सूचना दी गयी. नदी घाट पर काफी देर बैठने के बाद मुझे होश आया कि ठीक हूं, उम्मीद न थी कि जिंदा बच पाऊंगी. लेकिन आज पुलिस भगवान का रूप बनकर सामने आयी. वह पुलिस का एहसान कभी नहीं भूल पायेंगी.
वृद्धा की जान बचाने वाले दोनों जवान सम्मानित
आदित्यपुर रोड नंबर 19 की निवासी सुगंधी देवी को नदी के तेज बहाव से बाहर निकालने वाले जमशेदपुर पुलिस के जवान समीर सामंत और चुन्नु राम सोरेन को एसएसपी अनूप टी मैथ्यू ने प्रशस्ति पत्र देकर शनिवार को सम्मानित किया. बेहतर काम करने के लिए दोनों को एसएसपी ने बधाई भी दी. इस मौके पर सुगंधी देवी और उनके पति शुभ नारायण झा को शॉल ओढ़ाकर सम्मानित किया. शनिवार को अपने कार्यालय में आयोजित संवाददाता सम्मेलन में एसएसपी अनूप टी मैथ्यू ने बताया कि आदित्यपुर कुलुपटांगा घाट पर पूजा के दौरान सुगंधी देवी नदी के तेज बहाव में बहकर जुगसलाई शिव घाट पर आ गयी.
यहां तैनात पुलिस के जवानों ने नदी में छलांग लगा कर वृद्धा को पानी में डूबने से बचाया. एसएसपी के अनुसार पहली बार जमशेदपुर पुलिस को लाइफ जैकेट देकर नदी घाट पर तैनात किया गया था जो हितकर साबित हुआ. इतनी भीड़ में जवानों ने महिला को डूबते देख लिया, इससे यह साबित होता है कि पुलिस चौकस होकर ड्यूटी पूरी करती है. जवानों ने जो बहादुरी का काम किया है वह पुलिस विभाग के लिए गर्व की बात है.