बाल गृह के भोजन, साफ-सफाई व्यवस्था को ठीक करने का निर्देश

जमशेदपुर : झारखंड राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग की अध्यक्ष आरती कुजूर ने गुरुवार को करनडीह स्थित बाल संप्रेषण गृह (बाल गृह एवं बाल सुधार गृह) तथा सुंदरनगर स्थित कस्तूरबा आवासीय बालिका विद्यालय का निरीक्षण किया. अध्यक्ष ने पाया कि कस्तूरबा विद्यालय की क्षमता तीन-साढ़े तीन सौ बच्चियों की है, लेकिन वहां लगभग साढ़े पांच […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | March 23, 2018 4:49 AM

जमशेदपुर : झारखंड राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग की अध्यक्ष आरती कुजूर ने गुरुवार को करनडीह स्थित बाल संप्रेषण गृह (बाल गृह एवं बाल सुधार गृह) तथा सुंदरनगर स्थित कस्तूरबा आवासीय बालिका विद्यालय का निरीक्षण किया. अध्यक्ष ने पाया कि कस्तूरबा विद्यालय की क्षमता तीन-साढ़े तीन सौ बच्चियों की है, लेकिन वहां लगभग साढ़े पांच सौ बच्चियां रह रही है, जिसके कारण बच्चियों को क्लास रूम में बैठने से लेकर सोने तक की दिक्कत हो.

अध्यक्ष ने बगल के सरकारी भवन में वैकल्पिक व्यवस्था करने का निर्देश दिया. भवन, टॉयलेट की सफाई, क्लास रूम व सोने के कमरे में लाइट की व्यवस्था कम है, जिसे ठीक करने का निर्देश दिया. बच्चियों ने आवासीय विद्यालय में डॉक्टर की व्यवस्था की मांग की, अध्यक्ष ने वहां एबुलेंस की व्यवस्था करने का निर्देश दिया, ताकि किसी की तबीयत खराब हो तो तत्काल चिकित्सीय सुविधा मिल सके. साढ़े पांच सौ बच्चियों में परिसर में 24 घंटे रहने वाले तीन टीचर थे,

जिसमें से एक की प्रतिनियुक्ति दूसरे स्थान पर की गयी है तथा वहां दो ही हैं, जिसके कारण दिक्कत हो रही है, जिसे अध्यक्ष ने ठीक करने का निर्देश दिया. वहीं आदर्श बाल गृह में साफ-सफाई, रख-रखाव, टॉयलेट की सफाई, बेसिन-पेन टूटा हुआ पाया, जिसे ठीक करने का निर्देश दिया. साथ ही कमरे में लाइट अौर पंखे आवश्यकता के हिसाब से कम पाये गये, जिसे ठीक करने का निर्देश दिया. बाल गृह में बच्चे रहते हैं तथा परिसर में बिजली के तार खुले हुए पाये गये, जिससे कभी भी हादसा हो सकता है.

बाल गृह में सुधार की जरूरत : आरती कुजूर
झारखंड राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग की अध्यक्ष आरती कुजूर ने प्रभात खबर को बताया कि करनडीह स्थित बाल संप्रेषण गृह एवं सुंदरनगर स्थित कस्तूरबा आवासीय विद्यालय का निरीक्षण किया गया. पूर्वी सिंहभूम का संप्रेषण गृह राज्य के अन्य गृह से बेहतर है, लेकिन इसमें कुछ अौर सुधार की जरूरत है. तार नंगे पाये गये हैं, जिसे दुरुस्त करने का निर्देश दिया गया है. कस्तूरबा आवासीय विद्यालय में क्षमता से अधिक बच्चियां पायी गयी है, जिसके कारण दिक्कत हो रही है. इसके लिए वैकल्पिक व्यवस्था करने का निर्देश दिया गया है.

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