‘संकल्प के समय ही नशा छोड़ें’

जमशेदपुर: नशा एक चक्रव्यूह की तरह है. जिसमें एक बार फंसने के बाद लोग फंसते चले जाते है. नशा करनेवाले हमेशा कल से नशा नहीं करने का प्रण लेते हैं पर वह कल आता नहीं है. इसलिए नशा से यदि मुक्ति पाना है तो इस चक्रव्यूह को आज और अभी तोड़ने पर ही मुक्ति मिलेगी. […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 16, 2013 1:53 PM

जमशेदपुर: नशा एक चक्रव्यूह की तरह है. जिसमें एक बार फंसने के बाद लोग फंसते चले जाते है. नशा करनेवाले हमेशा कल से नशा नहीं करने का प्रण लेते हैं पर वह कल आता नहीं है. इसलिए नशा से यदि मुक्ति पाना है तो इस चक्रव्यूह को आज और अभी तोड़ने पर ही मुक्ति मिलेगी. उक्त बातें एमजीएम मेडिकल कॉलेज के माइक्रो बायोलॉजी के एचओडी डॉ एएसी श्रीवास्तव ने कहीं.

वह बतौर मुख्य अतिथि बारीडीह बागुन नगर स्थित नशा मुक्ति केंद्र ‘द कोलकाता समरीतान’ एवं ‘झारखंड स्टेट एड्स कंट्रोल सोसाइटी’ द्वारा अंतरराष्ट्रीय नशा मुक्ति दिवस पर आयोजित समारोह को संबोधित कर रहे थे. इससे पहले कार्यक्रम का शुभारंभ अतिथियों द्वारा द्वीप प्रज्वलित कर किया गया. जिसके बाद नशा मुक्ति केंद्र में इलाजरत मरीजों द्वारा ‘हमको मन की शक्ति देना, मन विजय करे ..’ गीत के साथ अन्य लोगों को भी नशा मुक्त जीवन जीने की प्रेरणा दी गयी .

इस मौके पर प्रो. डॉ मतिन अहमद खान, आनंद चंद्र साहु,डी तुली, राजीव सरकार, सुष्मिता, प्रोग्राम मैनेजर कंचन सिंह, ए. राजन आदि उपस्थित थे.

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