न पाया किसी ने मिसाल-ए-मोहम्मद…

शायकीन- ए- अदब जमशेदपुर का मुशायरा (27 मानगो)( अभी तसवीर नहीं दिख रही है.लाइफ रिपोर्टर@जमशेदपुर संस्था शायकीन-ए-अदब के तत्वावधान में आजादनगर के मदरसा दारु सलाम प्रांगण में नातिया मुशायरा का आयोजन किया गया. मुशायरे की अध्यक्षता संस्था के अध्यक्ष प्रोफेसर अहमद बद्र ने की, जबकि संचालन मकसूद अनवर खान ने किया. इस अवसर पर हज […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 27, 2014 9:02 PM

शायकीन- ए- अदब जमशेदपुर का मुशायरा (27 मानगो)( अभी तसवीर नहीं दिख रही है.लाइफ रिपोर्टर@जमशेदपुर संस्था शायकीन-ए-अदब के तत्वावधान में आजादनगर के मदरसा दारु सलाम प्रांगण में नातिया मुशायरा का आयोजन किया गया. मुशायरे की अध्यक्षता संस्था के अध्यक्ष प्रोफेसर अहमद बद्र ने की, जबकि संचालन मकसूद अनवर खान ने किया. इस अवसर पर हज से लौटे संस्था के सचिव हाजी अशरफ अली व मदरसा के शिक्षक मौलाना हामिद रजा का अभिनंदन किया गया. मुशायरे में कवियों ने काव्य पाठ और रचनाएं पढ़ीं. नजीर अहमद ने कहा -‘इस्मे अहमद से प्यार करते हैं, जीस्त यूं खुशगवार करते हैं. उमर ने कहा – न पाया किसी ने मिसाल-ए-मोहम्मद, कमाले खुदा है कमाले मोहम्मद. इसी तरह हरि कुमार सबा, अशरफ अली, मकसूद अनवर, रिजवान औरंगाबादी, हातिम नवाज मुकद्दर, प्रोफेसर गौहर अजीज, मुश्ताक राज,महताब अनवर, नूरजमां, प्रोफेसर अहमद बद्र व रिजवान वास्ती ने अपनी-अपनी रचनायें पढ़ीं. इस अवसर पर रिजवान औरंगाबादी, शाकिर अजीमाबादी, मोइनुद्दीन, सलीम गौसी, मोहम्मद अब्बास व नियाज गयानी आदि मौजूद थे.

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