टाउन हॉल में कल से जमा होगा नामांकन फॉर्म

टाटा वर्कर्स यूनियन चुनाव. प्रत्याशियों को अब दो हजार रुपये नामांकन राशि के रूप में जमा करने होंगे जमशेदपुर : टाटा वर्कर्स यूनियन चुनाव में प्रत्याशियों को अब दो हजार रुपया नामांकन राशि के रूप में जमा करना होगा. वहीं ऑफिसर बियरर (उपाध्यक्ष, सहायक सचिव, कोषाध्यक्ष) पद पर खड़े प्रत्याशियों को पूर्व से निर्धारित 10 […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 25, 2015 6:57 AM
टाटा वर्कर्स यूनियन चुनाव. प्रत्याशियों को अब दो हजार रुपये नामांकन राशि के रूप में जमा करने होंगे
जमशेदपुर : टाटा वर्कर्स यूनियन चुनाव में प्रत्याशियों को अब दो हजार रुपया नामांकन राशि के रूप में जमा करना होगा. वहीं ऑफिसर बियरर (उपाध्यक्ष, सहायक सचिव, कोषाध्यक्ष) पद पर खड़े प्रत्याशियों को पूर्व से निर्धारित 10 हजार रुपये जमा करना होगा. इसके अलावा अध्यक्ष, डिप्टी प्रेसिडेंट और महासचिव के लिए चुनाव लड़ने वाले प्रत्याशियों को 15 हजार रुपये जमा करना होगा. जिला प्रशासन ने पूर्व में कमेटी मेंबर के लिए 5 हजार रुपये नामांकन राशि तय किया था.
प्रशासन ने चुनाव के फाइनल कार्यक्रम की घोषणा कर दी है. नामांकन फॉर्म 26 से 28 फरवरी तक सिदगोड़ा टाउन हॉल में जमा होगा. इसके अलावा मतदान के समय में बदलाव किया गया है. नौ मार्च को कमेटी मेंबर के चुनाव के लिए सुबह आठ बजे से दोपहर एक बजे तक वोटिंग होगी. मतगणना और ऑफिस बियररों का चुनाव के लिए मतदान या मतगणना टाटा स्टील के भीतर स्टीलेनियम हॉल में होगी.
जमशेदपुर : 27 फरवरी को होने वाली कोल्हान विश्वविद्यालय के सीनेट की दूसरी बैठक में डॉ आर के दास का स्थानांतरण और डॉ सुमिता मुखर्जी को हटाने का मामला मुख्य रूप से उठेगा. वहीं सिंडिकेट की बैठक में लिये गये फैसले पर चर्चा के साथ मुहर लगेगी.बैठक में शामिल होने वाले सीनेट सदस्यों को एजेंडा दे दिया गया है. कोल्हान विवि के सीनेट सदस्यों में मुख्यमंत्री रघुवर दास, जुगसलाई के विधायक राम चंद्र सहिस, दीपक बिरुआ, गीता श्री उरांव समेत एक्सएलआरआइ के डायरेक्टर फादर इ अब्राहिम शामिल हैं. अबतक एक बार हुई है बैठक . विश्वविद्यालय की स्थापना के बाद केवल एक बार सीनेट की बैठक हुई है.
सीनेट की दूसरी बैठक में जमशेदपुर को ऑपरेटिव कॉलेज के पूर्व प्रिंसिपल डॉ आरके दास को सस्पेंड करने और वीमेंस कॉलेज की प्रभारी प्रिंसिपल डॉ सुमिता मुखर्जी के स्थानांतरण के मामले को गुप्त रखने संबंधी बात उठ सकती है. इन मामले को सिंडिकेट बैठक में भी नहीं रखा गया था. हालांकि 27 फरवरी को बजट होने की वजह से मुख्यमंत्री रघुवर दास समेत अन्य विधायकों के सीनेट बैठक में शामिल होने की संभावना कम है. इसे लेकर कुलपति डॉ आरपीपी सिंह से बात करने की कोशिश की गयी, लेकिन उन्होंने फोन रिसीव नहीं किया.

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