कैरियर टिप्स : अनूप कुमार सिंह

होमियोपैथी में बढ़ रहा है स्कोपआपने एलोपैथी मेडिसिन्स में एमआर (मेडिकल रिप्रेजेंटेटिव) के बारे में सुना होगा. इसी तरह से होमियोपैथी मेडिसिन्स में भी सेल्स पर्सन होते हैं. इन दिनों होमियोपैथी में लोगों के बढ़ते विश्वास के साथ होमियोपैथी दवाइयों की मैन्युफैक्चरिंग और सेल्स का काम बेहतर हो गया है. जहां तक बात है मैन्युफैक्चरिंग […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 26, 2015 7:03 PM

होमियोपैथी में बढ़ रहा है स्कोपआपने एलोपैथी मेडिसिन्स में एमआर (मेडिकल रिप्रेजेंटेटिव) के बारे में सुना होगा. इसी तरह से होमियोपैथी मेडिसिन्स में भी सेल्स पर्सन होते हैं. इन दिनों होमियोपैथी में लोगों के बढ़ते विश्वास के साथ होमियोपैथी दवाइयों की मैन्युफैक्चरिंग और सेल्स का काम बेहतर हो गया है. जहां तक बात है मैन्युफैक्चरिंग की तो इसके लिए आपका बायोलॉजी खासकर बॉटनी बैकग्राउंड से जुड़ा होना जरूरी है. और अगर बात करें सेल्स की तो इसके लिए आपके पास बीफार्मा की डिग्री होनी चाहिए. इसके अलावा अगर आपके पास एमबीए इन मार्केटिंग एंड सेल्स की डिग्री है तो ये आपके रिज्यूम को और भी प्रभावशाली बना सकता है. जहां तक बात है स्कोप की तो इन दिनों कई होमियोपैथी मेडिसिन्स की मैन्युफैक्चरिंग कंपनियां खुल रही हैं. ऐसे में प्रोडक्ट्स को लोगों तक पहुंचाने के लिए कंपनियों को अनुभवी सेल्स पर्सन की जरूरत है. जिसके चलते इस क्षेत्र में जॉब की अपार संभावनाएं हैं. अनूप कुमार सिंहविषय के जानकार

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