डॉ. मुकेश कुमार, जनरल फिजिशियनकुपोषण की बीमारी होने से कई अन्य बीमारी होने की संभावनाहाल ही में आये आंकड़ों के मुताबिक झारखंड में करीब 36 से 38 फीसदी बच्चे कुपोषण के शिकार होते हैं. कुपोषण यानि मालन्यूट्रीशन की बीमारी बेसिक कमी पीईएम (प्रोटीन-एनर्जी मालन्यूट्रीशन) की कमी के कारण होती है.इस बीमारी में बच्चों में पेट बड़ा हो जाना, शरीर की स्किन शाइन करना, बाल भूरे हो जाना, भूख भी कम लगना, हाथ-पैर पतले हो जाना जैसे लक्षण दिखायी देते हैं. इस प्रकार के लक्षण दिखायी देने पर डॉक्टरी सलाह लेनी चाहिए. इस बीमारी के होने के कारण कई अन्य प्रकार बीमारियों के होने की संभावना भी बनी रहती है. बचाव के तौर पर बच्चों को बैलेंस डाइट देना चाहिए. वहीं जन्म के शुरुआती 6 महीनों तक सिर्फ मां का दूध ही पिलाना चाहिए. वहीं 6 महीने के बाद दिन में करीब 5 से 6 बार अंतराल पर दूध व खाना खिलाना चाहिए. बीमारी : मालन्यूट्रीशनलक्षण : पेट बड़ा हो जाना, शरीर की स्किन शाइन करना, बाल भूरे हो जाना, भूख भी कम लगना, हाथ-पैर पतले हो जाना.उपाय : बच्चों को बैलेंस डाइट दें व लक्षण दिखायी देने के साथ ही डॉक्टरी सलाह लें.
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हेल्थ बुलेटिन : डॉ. मुकेश कुमार, जनरल फिजिशियन
डॉ. मुकेश कुमार, जनरल फिजिशियनकुपोषण की बीमारी होने से कई अन्य बीमारी होने की संभावनाहाल ही में आये आंकड़ों के मुताबिक झारखंड में करीब 36 से 38 फीसदी बच्चे कुपोषण के शिकार होते हैं. कुपोषण यानि मालन्यूट्रीशन की बीमारी बेसिक कमी पीईएम (प्रोटीन-एनर्जी मालन्यूट्रीशन) की कमी के कारण होती है.इस बीमारी में बच्चों में पेट […]
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