याचिकाकर्ता पर 25,000 का जुर्माना

रांची/जमशेदपुर: झारखंड हाइकोर्ट में बुधवार को बीपीएल परिवारों के हेल्थ इंश्योरेंस को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुनवाई हुई. एक्टिंग चीफ जस्टिस डीएन पटेल व जस्टिस अमिताभ कुमार गुप्ता की खंडपीठ ने मामले की सुनवाई करते हुए यह कहते हुए याचिका खारिज कर दी की यह जनहित का मामला नहीं है. साथ ही प्रार्थी को […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 14, 2013 10:11 AM

रांची/जमशेदपुर: झारखंड हाइकोर्ट में बुधवार को बीपीएल परिवारों के हेल्थ इंश्योरेंस को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुनवाई हुई. एक्टिंग चीफ जस्टिस डीएन पटेल व जस्टिस अमिताभ कुमार गुप्ता की खंडपीठ ने मामले की सुनवाई करते हुए यह कहते हुए याचिका खारिज कर दी की यह जनहित का मामला नहीं है.

साथ ही प्रार्थी को फटकार लगाते हुए 25,000 रुपये का जुर्माना लगाने का आदेश दिया. जुर्माने की राशि छह सप्ताह के अंदर झालसा में जमा करायी जाये. उल्लेखनीय है कि प्रार्थी भीष्म सिंह ने जनहित याचिका दायर की थी. याचिका में कहा गया था कि टाटा लीज नवीकरण के समय राज्य सरकार व टाटा प्रबंधन के बीच एमओयू हुआ था.

इसके अनुसार 30 वर्षो तक प्रबंधन प्रति वर्ष 25 करोड़ रुपये राज्य सरकार को देगी. इस राशि से सरकार बीपीएल परिवारों का हेल्थ इंश्योरेंस करायेगी, लेकिन टाटा प्रबंधन की ओर से अब तक सरकार को राशि नहीं मिल पायी है.

दूसरी ओर, याचिकाकर्ता भीष्म सिंह ने कहा कि वे इस मामले में सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटायेंगे. साथ ही एक प्रतिनिधिमंडल राज्यपाल से मिलकर दरख्वास्त करेगा कि स्वास्थ्य बीमा के एवज में 200 करोड़ रुपये की राशि टाटा स्टील से सरकारी खजाने में जमा करने के लिए कहा जाये.

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