नेत्रहीन रमणी कर रही दूसरों के जीवन में उजियारा, फोटो संदीप नाम से (संपादित)

नेत्रहीन रमणी कर रही दूसरों के जीवन में उजियारा, फोटो संदीप नाम से (संपादित) फ्लैग ::: बिरसानगर में चला रहीं खेलशाला, मुफ्त में पढ़ रहे 20 बच्चे संवाददाता, जमशेदपुर जन्म लिया तो दुनिया काली दिखी, जब बड़ी हुई तो पाया कि खोट कहीं अौर नहीं बल्कि उसकी आंखों में थी. लगा अब जीवन की राह […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 11, 2016 9:30 PM

नेत्रहीन रमणी कर रही दूसरों के जीवन में उजियारा, फोटो संदीप नाम से (संपादित) फ्लैग ::: बिरसानगर में चला रहीं खेलशाला, मुफ्त में पढ़ रहे 20 बच्चे संवाददाता, जमशेदपुर जन्म लिया तो दुनिया काली दिखी, जब बड़ी हुई तो पाया कि खोट कहीं अौर नहीं बल्कि उसकी आंखों में थी. लगा अब जीवन की राह कठिन होगी. लेकिन हिम्मत नहीं हारी. फौलादी इरादों के साथ न सिर्फ खुद की जिंदगी संवारी बल्कि कई दूसरों को भी रौशनी दिखायी. ये कहानी है बिरसानगर जोन नंबर 3 निवासी रमणी महतो की. रमणी महतो ग्रेजुएट कॉलेज में बीए पार्ट 3 की छात्रा है. उसे जन्म से ही उसे दष्टिदोष है और वह बायीं आंख से सिर्फ 10 फीसदी देख सकती है. पर अपनी इस कमी को पीछे छोड़ते हुए उसने गरीब बच्चों को नि:शुल्क पढ़ाना शुरू किया. इसमें उसकी मदद की उसकी सहेली श्रेया अग्रवाल ने. दोनों ने मिलकर खेलशाला नाम से क्लास शुरू की. जहां शाम में 3 से 5 बजे तक क्षेत्र के पहली से सातवीं क्लास तक के बच्चों को मैथ व इंगलिश की नि:शुल्क शिक्षा दी जाती है. ——-स्माइल जर्नी ने जीवन में लाया टर्निंग प्वाइंट रमणी ने बताया कि सामाजिक संस्था पिपुल फॉर चेंज की अोर से पिछले दिनों उसे जयपुर के 21 दिनों के टूर पर ले जाया गया. जहां उसे जीने की राह दिखायी गयी. बताया गया कि वह कमजोर नहीं है और शारीरिक कमी के बावजूद दूसरों को दूसरों के चेहरे पर मुस्कान ला सकती है. इसे एक संकल्प के रूप में लेते हुए उसने अपनी एक सहेली की मदद से अपने ही घर में खेलशाला की शुरुआत की. जहां बच्चों को पढ़ाई वे खेलकूद सिखाया जाता है.

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