बायफर के बुलावे का इंतजार
बायफर के बुलावे का इंतजारकेबुल पर दिल्ली हाइकोर्ट का लिखित आदेश पहुंचा (फ्लैग)वरीय संवाददाता, जमशेदपुर टाटा स्टील को ही केबुल कंपनी सौंपे जाने के बायफर और आयफर के आदेश को सही ठहराते हुए दिल्ली हाइकोर्ट का लिखित आदेश आ चुका है. आदेश में आरआर केबुल के फैसले को खारिज कर दिया गया है और बायफर […]
बायफर के बुलावे का इंतजारकेबुल पर दिल्ली हाइकोर्ट का लिखित आदेश पहुंचा (फ्लैग)वरीय संवाददाता, जमशेदपुर टाटा स्टील को ही केबुल कंपनी सौंपे जाने के बायफर और आयफर के आदेश को सही ठहराते हुए दिल्ली हाइकोर्ट का लिखित आदेश आ चुका है. आदेश में आरआर केबुल के फैसले को खारिज कर दिया गया है और बायफर और आयफर के उस आदेश को कायम रखा है, जिसमें कहा गया है कि केबुल कंपनी को टाटा स्टील से अच्छा बिडर नहीं माना जा सकता है. अब लोगों को बायफर के बुलावे का इंतजार है. बायफर में चूंकि अधिकारी नहीं है, इस कारण उसमें सुनवाई नहीं हो पा रही है. ऑपरेटिंग एजेंट ने आरआर केबुल की पोल खोलीइस केस की सुनवाई के दौरान ऑपरेटिंग एजेंड ने आरआर केबुल की चालाकी की पोल खोली. इसके तहत स्टेट बैंक ऑफ इंडिया ने अपनी रिपोर्ट दी, जिसमें कहा गया है कि करोड़ों की जमीन पर आरआर केबुल की नजर है, जबकि कंपनी चलाने की उसकी मंशा नहीं है. टाटा स्टील ने कहा है कि वह कोई भी परिसंपत्त नहीं बेचेगी. आरआर केबुल ने कुछ संपतियों को बेचने की बात कही है. ऐसे हुआ टाटा स्टील का सबसे बेहतर स्कीम पुर्नवास का क्या स्कीम है-टाटा स्टील का प्रोजेक्ट-आरआर केबुल का प्रोजेक्ट-पेगासस का प्रोजेक्टसिक्यूर्ड क्रेडिटर को पेमेंट-2437.50 लाख रुपये-4091.18 लाख रुपये-7039.32 लाख रुपयेअनसिक्यूर्ड क्रेडिटर का पेमेंट-74.25 लाख रुपये-0.00 लाख रुपये-3465.77 लाख रुपयेलीडर ग्रुप को पेमेंट-0.00 लाख रुपये-175.00 लाख रुपयेनिवेश कितना का करेगा-1265.00 लाख रुपये-392.11 लाख रुपये-1500 लाख रुपयेटैक्स, बिजली, पानी का बकाया-2984.01 लाख रुपये-2808.00 लाख रुपये-0.00 लाख रुपयेकर्मचारियोंका बकाया-2470.00 लाख रुपये-425.00 लाख रुपये-1000.00 लाख रुपयेकुल मार्जिन मनी वर्किंग कैपिटल-639.00-816.75-3185.22 कुल निवेश-9869.76 लाख रुपये-8708.04 लाख रुपये-16190.31 लाख रुपये