केंद्रीय उत्पाद व सेवाकर आयुक्तालय का हुआ उदघाटन, राज्य में सर्वाधिक राजस्व देने वाला शहर है जमशेदपुर

जमशेदपुर: सभी करदाताओं को ईमानदारीपूर्वक टैक्स का भुगतान कर देना चाहिए ताकि देश की प्रगति में वे लोग भी अपनी महती भूमिका निभा सकें. उक्त बातें केंद्रीय उत्पाद व सेवाकर आयुक्तालय के उदघाटन के बाद आयुक्त पीके कटियार ने पत्रकारों से कहीं. उन्होंने बताया कि जमशेदपुर आयुक्तालय (पूरा कोल्हान) झारखंड राज्य का सर्वाधिक अप्रत्यक्ष राजस्व […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 13, 2016 8:31 AM
जमशेदपुर: सभी करदाताओं को ईमानदारीपूर्वक टैक्स का भुगतान कर देना चाहिए ताकि देश की प्रगति में वे लोग भी अपनी महती भूमिका निभा सकें. उक्त बातें केंद्रीय उत्पाद व सेवाकर आयुक्तालय के उदघाटन के बाद आयुक्त पीके कटियार ने पत्रकारों से कहीं. उन्होंने बताया कि जमशेदपुर आयुक्तालय (पूरा कोल्हान) झारखंड राज्य का सर्वाधिक अप्रत्यक्ष राजस्व प्रदान करने वाला आयुक्तालय है.

इस वर्ष जनवरी 2016 तक केंद्रीय उत्पाद शुल्क के मद में कुल वार्षिक राजस्व वसूली 2,750.96 करोड़ व सेवाकर के रूप में राजस्व वसूली 459 करोड़ रुपये हुई है. उन्होंने कहा कि करदाता और विभाग एक दूसरे के पूरक हैं.

विभाग करदाताओं को अपेक्षित सहायता प्रदान करेगा, जिससे कि उन्हें कर जमा करने में किसी तरह की परेशानी न हो. उन्होंने साथ ही स्पष्ट किया कि करवंचना करने वाले किसी भी हाल में बख्शे नहीं जायेंगे.


बिहार-झारखंड से वसूले जायेंगे 17 हजार करोड़
बिहार और झारखंड से राजस्व के रूप में 17 हजार करोड़ रुपये वसूले जायेंगे. यह बात केंद्रीय उत्पाद व सेवा कर विभाग बिहार-झारखंड के मुख्य आयुक्त शिवनारायण सिंह ने कहीं. वे शुक्रवार को जमशेदपुर दौरे पर आये थे. इस दौरान उन्होंने केंद्रीय उत्पाद व सेवाकर आयुक्तालय, जमशेदपुर के नवनिर्मित भवन का उदघाटन किया. इस मौके पर उनके साथ आयुक्त पीके कटियार भी मौजूद थे. कांफ्रेंस हॉल में पत्रकारों को संबोधित करते हुए श्री सिंह ने कहा कि प्रयास होना चाहिए कि वर्तमान वित्तीय वर्ष में कोल्हान सबसे बड़ा टैक्सपेयर्स की कमिश्नरी बने. यहां से अब तक करीब 4000 करोड़ रुपये का कर संग्रह हो चुका है. उन्होंने बताया कि करदाताओं के साथ दोस्ताना रवैया रहे, यह सुनिश्चित कराया जायेगा. इसके लिए लोगों के बीच जागरूकता कार्यक्रम भी आयोजित किया जायेगा, जिसमें चैंबर की सहभागिता बढ़ायी जायेगी. उन्होंने बताया कि भारत के जीडीपी में 50 फीसदी हिस्सेदारी सर्विस टैक्स की है, जिसके तहत बिहार-झारखंड में 14 हजार करोड़ रुपये का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. इसके बदले हम 17 हजार करोड़ रुपये संग्रह की कोशिश कर रहे हैं. मार्च के अंत तक इस लक्ष्य को हासिल कर लेंगे.
करवंचना करने वाले बख्शे नहीं जायेंगे : मुख्य आयुक्त ने बताया कि यहां करवंचना के 250 केस हैं, जिसमें से करीब 140 करोड़ रुपये की राशि फंसी थी. उसकी वसूली का काम तेज कर दिया गया है. करवंचना करने वालों को बख्शा नहीं जायेगा.

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