सुधा डेयरी: वितरकों को लाइसेंस लेना अनिवार्य
जमशेदपुर: सुधा डेयरी दूध के प्रोसेसिंग, भंडारण, परिवहन, वितरण, बिक्री करने वालों को लाइसेंस लेना होगा. 4 फरवरी 14 लाइसेंस लेने की अंतिम तिथि निर्धारित की गयी है. प्रभात खबर डिजिटल प्रीमियम स्टोरीपीएम मोदी YouTube से करते हैं करोड़ों की कमाई, केवल एक वीडियो से हुई 10780560 रुपये की आमदनीNepal Violence : क्या 17 साल […]
जमशेदपुर: सुधा डेयरी दूध के प्रोसेसिंग, भंडारण, परिवहन, वितरण, बिक्री करने वालों को लाइसेंस लेना होगा. 4 फरवरी 14 लाइसेंस लेने की अंतिम तिथि निर्धारित की गयी है.
लाइसेंस नहीं लेने वाले को चार फरवरी के बाद डेयरी से आपूर्ति रोक दी जायेगी. बिहार स्टेट मिल्क को- ऑपरेटिव फेडरेशन के फूड- सेफ्टी सह डेजीगनटेड पदाधिकारी महेश पांडेय ने बताया कि चार फरवरी के बाद बिना लाइसेंस के भंडारण,परिवहन, वितरण, बिक्री पर रोक रहेगी. उन्होंने बताया कि मुख्यालय कार्यपालक की ओर से इस संबंध में आदेश जारी कर दिया गया है.
फूड सेफ्टी एंड स्टैंड एक्ट 2006 और नियम 2011 के तहत लाइसेंस प्राप्त करना अनिवार्य कर दिया गया है. इसके तहत दूध एवं दुग्ध जन्य पदार्थ निर्माण, भंडारण,परिवहन, वितरण, बिक्री के लिए लाइसेंस लेना अनिवार्य है. क्या है सजा का प्रावधान :बिना लाइसेंस के दूध व दूध से बने सामान बेचने वाले को धारा 3 के अनुरूप छह माह कारावास अथवा आर्थिक दंड या दोनों के भागी होंगे.
कितना है लाइसेंस फीस :12 लाख से कम टन ओवर के आवेदक को सालाना 100 रु एवं 12 लाख से ज्यादा के लिए 2 हजार रुपया सालाना लाइसेंस फीस निर्धारित किया गया है.