अस्तित्व संकट में, सरकार को उखाड़ फेंकें : गुरुजी
जमशेदपुर: केंद्र और राज्य सरकार आदिवासी विरोधी है. यह लाठी-डंडा और गोली के बल पर आदिवासियों की जमीन छीन कर पूंजीपतियों को देना चाहती है. इसीलिए सीएनटी व एसपीटी एक्ट में संशोधन करना चाहती है ताकि पूंजीपतियों को जमीन आसानी से दी जा सके. अगर ऐसा नहीं होता तो वर्षों पुराने कानून को बदलने की […]
जमशेदपुर: केंद्र और राज्य सरकार आदिवासी विरोधी है. यह लाठी-डंडा और गोली के बल पर आदिवासियों की जमीन छीन कर पूंजीपतियों को देना चाहती है. इसीलिए सीएनटी व एसपीटी एक्ट में संशोधन करना चाहती है ताकि पूंजीपतियों को जमीन आसानी से दी जा सके.
अगर ऐसा नहीं होता तो वर्षों पुराने कानून को बदलने की क्या जरूरत थी. उक्त बातें झामुमो के केंद्रीय अध्यक्ष शिबू सोरेन ने कहीं. वे सोमवार को आदित्यपुर जाने के क्रम में जमशेदपुर स्थित सर्किट हाउस में पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे. उन्होंने कहा कि गोली के बल पर लोगों की आवाज दबाने की कोशिश की जा रही है. वाजिब हक मांगने वालों पर गोली चलायी जा रही है.
श्री सोरेन ने कहा कि लाठी डंडा और गोली से सरकार जमीन नहीं ले सकती है. आदिवासी अब समझ लें कि उनकी जमीन, जल और जंगल छिनने वाला है. किसी भी हाल में सरकार की इस मंशा को पूरी होने नहीं देना चाहिए. अगर इस सरकार को उखाड़ नहीं फेंका गया तो आदिवासियों का अस्तित्व ही मिट जायेगा. श्री सोरेन ने कहा कि पिछले दिनों ट्राइवल कार्निवाल में भाग लेने के लिए आदिवासियों को जेनरल डिब्बे से दिल्ली भेजा गया. उन्हें जिस तरह से ले जाया और लाया गया इसके जरिये सरकार की सोच का पता चलता है. इस मौके पर पूर्व मंत्री चंपई सोरेन, सुमन महतो, गणेश चौधरी, लालटू महतो समेत कई झामुमो नेता मौजूद थे.