बिल नहीं बंटने से करीब 6 करोड़ पीछे रहा वसूली का आंकड़ा, राजस्व वसूली में कमी

आदित्यपुर. झारखंड बिजली वितरण निगम लि. के जमशेदपुर अंचल में समुचित रूप से बिल नहीं बंटने के कारण दिसंबर माह की तुलना में जनवरी माह में राजस्व वसूली में कमी आयी है. यह आंकड़ा करीब 6 करोड़ रुपये से पीछे रहा है. विभाग के अधीक्षण अभियंता मनमोहन कुमार ने बताया कि जनवरी माह में 42 […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 11, 2017 8:32 AM
आदित्यपुर. झारखंड बिजली वितरण निगम लि. के जमशेदपुर अंचल में समुचित रूप से बिल नहीं बंटने के कारण दिसंबर माह की तुलना में जनवरी माह में राजस्व वसूली में कमी आयी है. यह आंकड़ा करीब 6 करोड़ रुपये से पीछे रहा है. विभाग के अधीक्षण अभियंता मनमोहन कुमार ने बताया कि जनवरी माह में 42 करोड़ 64 लाख 89 हजार रुपये का राजस्व संग्रह हुआ.

जिसमें आदित्यपुर प्रमंडल में 12.40 करोड़, जमशेदपुर में 11.39 करोड़ व घाटशिला में 17.90 करोड़ रुपये का राजस्व शामिल है. श्री कुमार ने बताया कि बिलिंग का काम नये वित्तीय वर्ष में निजी एजेंसी बिप्स की जगह क्वैस करेगी. इस बदलाव के समय बिलिंग का काम प्रभावित हुआ. इसे देखते हुए दोनों कंपनियों को निर्देश दिया गया है कि वे आपसी सहयोग से मार्च माह तक बिलिंग का काम पूरा करें. उम्मीद है कि सभी जगहों पर दो-तीन दिनों में मीटर रीडिंग का काम पूरा कर लिया जायेगा.

इसके बाद 15 फरवरी तक बिल तैयार कर लिया जायेगा और माह के अंतिम दस दिनों में सभी उपभोक्ताओं को बिल मिल जायेगा. उपभोक्ताओं से ले रहे सहयोग. विभाग राजस्व बढ़ाने के लिए घरेलू व व्यवसायिक विद्युत उपभोक्ताओं का सहयोग ले रहा है. उनसे कहा जा रहा है कि 25 फरवरी के बाद जिन्हें बिजली बिल नहीं मिला है वे खुद मीटर की रिडिंग बताकर कार्यालय से बिल प्राप्त कर उसका भुगतान करें. उद्योगों की मीटर रीडिंग विभाग के कर्मचारी भी प्राप्त कर रहे हैं.

मरम्मत व रखरखाव में जुटा विभाग.बिजली विभाग विद्युत उपकरणों की मरम्मत व उनके रखरखाव पर भी विशेष ध्यान दे रहा है. ताकि आने वाले मौसम में उपभोक्ताओं को निर्बाध बिजली मिले. इसके लिए सामान की पर्याप्त आपूर्ति की जा रही है. विद्युत उपकेंद्रों की भी मरम्मत करवायी जा रही है.

5 हजार बकाये वालों की सूची बनी
विभाग के एसडीओ आदित्यपुर राज किशोर ने बताया कि राजस्व संग्रह बढ़ाने के लिए बकायेदारों की लाइन भी काटी जा रही है. साथ ही पांच हजार रुपये से अधिक के बकायेदारों की सूची बनायी गयी है. इसमें सभी प्रकार के 162 उपभोक्ता शामिल हैं. इनमें ऐसे भी उपभोक्ता हैं, जिनका एक माह का बिल ही पांच हजार या इससे अधिक होता है. उनकी लाइन नहीं काटी जायेगी.

Next Article

Exit mobile version